EPFO Employees News : 1 फरवरी 2025 को केन्द्र की मोदी सरकार अपना पूर्ण बजट पेश करने वाली है। इस बजट से किसानों, कर्मचारियों और युवाओं को बड़ी उम्मीदें है, इसलिए अलग-अलग संगठनों ने अपनी-अपनी मांगें वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण के सामने रख दी है। कर्मचारी संगठनों ने भी वित्त मंत्री के सामने EPFO से मिलने वाली पेंशन स्कीम के तहत न्यूनतम पेंशन 1000 रुपये से बढ़ाकर 7500 रुपये प्रतिमाह करने की मांग की है।
मीडिया रिपोर्ट्स की मानें तो केन्द्र सरकार निजी क्षेत्र के कर्मचारियों की इस मांग पर विचार कर सकती है।इस बदलाव से निजी क्षेत्र के लाखों कर्मचारियों को राहत मिलेगी।हालांकि ट्रेड यूनियनों ने इसे घटाकर 5,000 रु प्रति माह करने का सुझाव दिया है। चुंकी 2014 की घोषणा के बावजूद न्यूनतम पेंशन 1,000 रुपये निर्धारित है।EPF में दो तरह के खाते होते हैं, जिसमें से रिटायरमेंट पर एकमुश्त निकासी के लिए और दूसरा मासिक पेंशन भुगतान के लिए। नियोक्ता के 12% योगदान में से 8.33% पेंशन के लिए EPS में जाता है, जबकि शेष 3.67% EPF को आवंटित किया जाता है।इसमें सरकार भी 1.16% का योगदान करती है।
बजट में NPS पर हो सकता है कोई ऐलान
- पिछले साल जुलाई में पेश किए गए यूनियन बजट में केन्द्र सरकार ने एनपीएस में कंट्रीब्यूसन को और बढ़ाने की घोषणा की थी। इसमें एंपलॉयर को कर्मचारियों के एनपीएस अकाउंट में 14% तक योगदान करने की छूट दी गई थी, लेकिन यह लाभ केवल उन टैक्सपेयर्स के लिए था, जो नई टैक्स रीजीम का पालन करते हैं।
- संभावना है कि सरकार न्यू टैक्स रिजीम के लिए नेशनल पेंशन सिस्टम (NPS) में कुछ और बदलाव कर सकती है। NPS के लिए सेल्फ-कंट्रीब्यूशन डिडक्शन को भी बढ़ाया जा सकता है। सेक्शन 80CCD(1B) के तहत दिए जाने वाले 50,000 रुपये के टैक्स डिडक्शन को बढ़ाकर 1 लाख रुपये हो सकता है।
- अभी NPS फंड के 40% हिस्से से एन्युटी खरीदना अनिवार्य है और इससे मिलने वाली पेंशन टैक्सेबल होती है। अगर सरकार पेंशन को टैक्स के दायरे से बाहर कर देती है, तो यह रिटायर्ड लोगों के लिए बड़ा लाभ होगा।
नए लेबर कोड पर हो सकता है ऐलान
- मीडिया रिपोर्ट्स की मानें तो आगामी बजट 2025 में केन्द्र सरकार नए लेबर कोड्स को लागू करने की घोषणा कर सकती है।नए लेबर कोड्स को तीन चरणों में लागू किया जा सकता है, जिससे कर्मचारियों और कंपनियों दोनों के लिए नई चुनौतियां और अवसर पैदा होंगे।
- पहले चरण में 500 से अधिक कर्मचारियों वाली बड़ी कंपनियों को इन कोड्स का पालन करना अनिवार्य होगा। दूसरे चरण में 100-500 कर्मचारियों वाली मझोली कंपनियों को इसके दायरे में लाया जाएगा। तीसरे चरण में 100 से कम कर्मचारियों वाली छोटी कंपनियों पर इन कोड्स को लागू किया जाएगा।छोटे कारोबारियों को इन नियमों को लागू करने के लिए लगभग दो साल का समय दिया जाएगा।
- नए नियमों में हफ्ते में चार दिन काम और तीन दिन आराम करने की नीति भी शामिल हो सकती है, हालांकि कामकाजी घंटों में वृद्धि हो सकती है और प्रॉविडेंड फंड (PF) में कटौती बढ़ सकती है, जिससे कर्मचारियों की सैलरी में कमी हो सकती है।
बजट से पहले यूपीएस का तोहफा, अप्रैल 2025 से लागू
- बजट से पहले मोदी सरकार ने केंद्रीय कर्मचारियों को तोहफा देते हुए यूनिफाइड पेंशन स्कीम यानी यूपीएस का नोटिफिकेशन जारी कर दिया है।
- 1 अप्रैल 2025 से नई पेंशन स्कीम की सुविधा मिलेगी। यूपीएस लागू होने के बाद सरकार कर्मचारियों की बेसिक सैलरी का 18.5 फीसदी कॉन्ट्रिब्यूशन करेगी।
- इस योजना के तहत, केंद्र सरकार कर्मचारियों को रिटायरमेंट के बाद पेंशन देगी।
- NPS के तहत आने वाले केंद्रीय कर्मचारियों को यूनिफाइड पेंशन स्कीम का लाभ मिलेगा।
- केंद्र सरकार के कर्मचारी या तो एनसीएस के तहत यूपीएस का ऑप्शन चुनते हैं या फिर यूपीएस विकल्प के बिना ही एनपीएस को जारी रखते हैं। हालांकि केंद्र सरकार ने ये भी स्पष्ट कर दिया है कि यूपीएस का ऑप्शन चुनने वाले किसी भी कर्मचारी को किसी अन्य पॉलिसी या फाइनेंशियल बेनिफिट का लाभ नहीं ले सकते।