Vidh Yog/Samsaptak Rajyog : ज्योतिष शास्त्र के अनुसार राहु केतु और शनि को सबसे क्रूर ग्रह माना जाता है।कहते है जब शनि ग्रह की स्थिति में जब परिवर्तन होता है तो इसका प्रभाव सभी राशियों पर सकारात्मक और नकारात्मक पड़ता है। वर्तमान में शनि स्वराशि कुंभ राशि में विराजमान है और चंद्रमा 30 अगस्त को कुंभ राशि में प्रवेश कर रहे हैं, ऐसे में शनि और चंद्रमा की युति से विष योग का निर्माण हो रहा है, जो 1 सितंबर तक रहेगा, जिससे 3 राशियों को बहुत सावधान रहने की जरूरत है।
पंचाग के अनुसार, चंद्रमा 30 अगस्त को सुबह 10 बजकर 19 मिनट पर कुंभ राशि में प्रवेश कर जाएंगे और 1 सितंबर को सुबह 9 बजकर 36 मिनट तक रहेंगे और फिर मीन राशि में संचार करें। यह योग मानसिक तनाव, निराशा, चिंता, अवसाद और कई अन्य समस्याएं पैदा करता है। वही सूर्य और चन्द्रमा से अमावस्या योग भी बनेगा, जो मुश्किलें पैदा कर सकता है।इसके अलावा सूर्य और शनि के आमने सामने आने से समसप्तक योग का निर्माण हो गया है, ऐसे में जातकों को 17 सिंतबर तक संभलकर रहना होगा।
विष योग से इन राशियों को रहना होगा सतर्क
वृषभ राशि : शनि चन्द्रमा से बने इस योग से जातकों को सावधान रहने की जरूरत है। नौकरीपेशा को परेशानियों का सामना करना पड़ सकता है। किसी से अनबन हो सकती है। धैर्य रखें और शांति से काम करें। अकेलापन महसूस कर सकते है, चिंताएं घेर सकती है। असमंजस महसूस करेंगे। नौकरी मिलने में या प्रमोशन मिलने में देरी हो सकती है। यह समय कार्यक्षेत्र में सतर्कता बरतने वाला रहेगा।
कर्क राशि : जातकों को बेहद सतर्क रहने की जरूरत है। वाहन चलाते समय या फिर यात्रा करते समय थोड़ा सावधानी बरतें। दुर्घटना हो सकती है। मानसिक तनाव का सामना करना पड़ सकता है। कार्यों में असफलता मिल सकती है।
कुंभ राशि : इस योग से जातकों की चिताएं बढ़ सकती है।मानसिक और शारीरिक तनाव का सामना करना पड़ सकता है। किसी भी काम को पूरा करने में देरी हो सकती है। थोड़ा परेशान रह सकते हैं। वैवाहिक जीवन पर भी नकारात्मक प्रभाव पड़ेगा और वाद-विवाद और तकरार का सामना करना पड़ सकता है।चंद्रमा के साथ सूर्य की युति से बने अमावस्या योग से भी हानि हो सकती है।क्रोध को कंट्रोल करके अनचाहे वाद-विवाद से बच सकते हैं। इससे आपकी प्रोफेशनल और पर्सनल पर बुरा असर पड़ सकता है।
सिंह राशि : जातकों को विष योग के दौरान वैवाहिक एवं व्यापारिक जीवन में सतर्कता बरतने की आवश्यकता है। इस दौरान व्यापार क्षेत्र में धन हानि हो सकती है। साझेदारी में किए जा रहे व्यवसाय में कई प्रकार की चुनौती भी उत्पन्न हो सकती है। शनि और चंद्रमा की अवधि में संयम बरतने की आवश्यकता है और आर्थिक क्षेत्र में पूर्ण सावधानी बरतें।
मकर राशि : समसप्तक योग का नकारात्मक प्रभाव पड़ सकता है। जातक न्यायिक मामलों में उलझ सकते हैं। जिस कारण तनाव में वृद्धि होगी। इसके साथ आर्थिक स्थिति पर भी नकारात्मक प्रभाव के संकेत मिल रहे हैं। साथ ही विरोधी पक्ष हावी हो सकता है, इसलिए इस दौरान अधिक सतर्कता बरतने की आवश्यकता है। संतान पक्ष से भी कुछ परेशानियां सामने आ सकती है।
कन्या राशि : जातकों को भी समसप्तक योग से सतर्क रहना होगा। इस दौरान आर्थिक क्षेत्र पर प्रभाव पड़ेगा । खर्चे बढ़ सकते हैं। इसके लिए ऋण भी लेना पड़ सकता है। स्वास्थ्य संबंधित समस्याएं भी उत्पन्न हो सकती हैं। तनाव की स्थिति बनी रह सकती है, मन विचलित रह सकता है। सेहत भी खराब हो सकती है। कार्यक्षमता प्रभावित हो सकती है। अधिकारियों के गुस्से का शिकार हो सकते हैं।
(Disclaimer : यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं, ज्योतिष, पंचांग, धार्मिक ग्रंथों और जानकारियों पर आधारित है, MP BREAKING NEWS किसी भी तरह की मान्यता-जानकारी की पुष्टि नहीं करता है। हमारा उद्देश्य महज सूचना पहुंचाना है। इन पर अमल लाने से पहले अपने ज्योतिषाचार्य या पंडित से संपर्क करें)