भोपाल, डेस्क रिपोर्ट। मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) का उच्च शिक्षा विभाग (higher education department) कॉलेजों (MP College) और छात्रों (Student) को लेकर आए दिन बड़े ऐलान और फैसले ले रहा है।इसी कड़ी में उच्च शिक्षा मंत्री डॉ. मोहन यादव (Minister Dr. Mohan Yadav) का एक और बड़ा बयान सामने आया है, जिसमें उन्होंने कहा कि प्रदेश में विश्वविद्यालयों एवं महाविद्यालयों (Universities And Colleges) द्वारा नए पाठ्यक्रम संचालित करने के लिए सरकार का भरपूर प्रोत्साहन मिलेगा। कृषि एवं चिकित्सा के पाठ्यक्रम संचालित करने सहित विभिन्न नवाचारों के लिए पूरी मदद की जाएगी।
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दरअसल, आज उच्च शिक्षा मंत्री डॉ. यादव भोपाल के बरकतउल्ला विश्वविद्यालय (Barkatullah University Bhopal) में 10 करोड़ की लागत से निर्मित होने वाले मल्टीपर्पज भवन के भूमिपूजन शिलान्यास एवं अन्य निर्माण कार्यों के उन्नयन कार्यक्रम में शामिल होने पहुंचे थे, जहां उन्होंने यह सब बातें कहीं। यादव ने कहा कि बरकतउल्ला विश्वविद्यालय में निर्मित होने वाले मल्टीपर्पज भवन का नामकरण स्वामी विवेकानंद के नाम से किया जाएगा। स्वामी विवेकानंद के मार्ग को आत्मसात करने वाले विद्यार्थियों को सफलता प्राप्त करने से कोई नहीं रोक सकता।
वही उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi ने नई शिक्षा नीति (New Education Policy) लागू करके शिक्षा जगत को बड़ी सौगात दी है। नई शिक्षा नीति रोजगारपरक एवं शोध (Employment and Research)आधारित नीति है। इसे ध्यान में रखते हुए उच्च शिक्षा विभाग द्वारा शिक्षा के क्षेत्र में विभिन्न नवाचार किए जा रहे हैं। विश्वविद्यालय एवं महाविद्यालय की व्यवस्थाएँ बेहतर बनाने के लिए निरंतर प्रयास किए जा रहे हैं। बरकतउल्ला विश्वविद्यालय में मल्टीपर्पज भवन के बन जाने से विश्वविद्यालय की समस्याएँ दूर होंगी और विद्यार्थियों की सुविधाएँ बढ़ेंगी।
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इसके अलावा उच्च शिक्षा मंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि प्रदेश के महाविद्यालयों में नैक प्रक्रिया में उत्कृष्ट प्रदर्शन करने एवं उच्चतर ग्रेड प्राप्त करने की संभावनाएँ हैं। विद्यार्थियों, प्राचार्यों, प्राध्यापकों एवं कर्मचारियों में प्रतिभा और क्षमता की कोई कमी नहीं है। यदि महाविद्यालय परिवार के समस्त घटक अपनी ऊर्जा सही दिशा में लगाते हुए नैक में बेहतर प्रदर्शन करने की ठान लें तो महाविद्यालयों को उच्चतर ग्रेड प्राप्त करने से कोई नहीं रोक सकता।
मंत्री डॉ. यादव ने कहा कि नैक एवं एनआईआरएफ (NAC and NIRF) में उच्चतर स्थान प्राप्त करने का कोई भी अवसर हाथ से न जाने दें, साथ ही प्रदेश की उच्च शिक्षा को नई ऊँचाईयों तक पहुंचायें। राज्य शासन (State government) महाविद्यालयों को समस्त संभावित संसाधन उपलब्ध कराने का प्रयास कर रहा है। महाविद्यालयों को भी इस प्रक्रिया में अपना उत्कृष्ट प्रदर्शन करने का प्रयास करना चाहिए।यही कारण है कि विभाग के अंतर्गत स्थापित राज्य स्तरीय नैक प्रकोष्ठ द्वारा नैक मूल्यांकन के लिए प्रथम चरण में चयनित प्रदेश के 52 शासकीय महाविद्यालयों के मूल्यांकन संबंधी प्राचार्यों की मूल्यांकन एक दिवसीय कार्यशाला का आयोजन किया गया है।