भिण्ड।गणेश भारद्वाज
सिंधिया समर्थक जिले के वरिष्ठ समाजसेवी नेता डॉ रमेश दुबे ने अपने निज निवास “मातृछाया” पर प्रेस वार्ता कर जिले के खनिज विभाग एवं पॉवरमेक कम्पनी के दुर्दांत कृत्यों के बारे में अवगत कराते हुए बताया कि जिले में हो रहे अवैध उत्खनन को रोकने के लिए मेरे द्वारा लगातार जारी लड़ाई के तहत चंबल सम्भाग के कमिश्नर महोदय रविन्द्र मिश्रा जी के द्वारा जांचदल का प्रमुख जिले के एडीएम को बनाया गया था तथा साथ मे कमिश्नर ने कहा था कि निष्पक्ष जांच कर दोषियों के खिलाफ प्रतिवेदन बनाकर निश्चित अवधि में भेजा जाए। उसी तारतम्य में एडीएम के बुलाने पर मैं एडीएम कार्यालय पहुंचा।
डॉ रमेश दुबे ने आगे जानकारी देते हुए कहा कि एडीएम के समक्ष अपने दर्ज बयानों की बिंदुवार जानकारी देते हुए बताया कि खनिज विभाग के द्वारा कमिश्नर चम्बल सम्भाग को पूरी तरह गुमराह कर गलत जानकारी प्रदान की है। पॉवरमेक कम्पनी एवं खनिज विभाग के ऊपर अवैध उत्खनन एवं जलीय जीवों की हत्या के जुर्म में एफआईआर दर्ज कराई जाए।
डॉ रमेश दुबे ने सभी सबूत मीडिया के समक्ष पेश करते हुए अपने बयानों के बारे में बताया कि खनिज अधिकारी के द्वारा कमिश्नर को पॉवरमेक कम्पनी के माइनिंग प्लान के बारे में कोई जानकारी नहीं दी गयी एवं तथ्यों को घुमाफिरा का कमिश्नर महोदय को गुमराह करने की धृष्टता की गई जोकि घोर आपत्तिजनक है।
डॉ रमेश दुबे ने आगे बताते हुए कहा एनजीटी के द्वारा केवल मानव हाथों से ही रेत खनन कराने के स्पष्ट निर्देश हैं लेकिन पॉवरमेक कम्पनी ने सिंध नदी पर अनगिनत पोकलेन,जेसीबी मशीन एवं पनडुब्बियों को अवैध उत्खनन के लिए उतार रखे हैं, खनिज विभाग के द्वारा भेजी गई जानकारी में इस बिंदु को छिपाया गया, अधिकांश खदानों पर मशीनों एवं पनडुब्बियों के माध्यम से आज दिनांक 17 जुलाई तक अवैध उत्खनन कराया जा रहा है।
माइनिंग विभाग के द्वारा कोई भी सीमांकन सीमाशिला गाढ़कर नहीं किया गया है एवं इस विशेष जानकारी को भी झूठा पेश किया गया ।
डॉ दुबे ने आगे बताया कि रेत कम्पनी के द्वारा 4 स्थानों पर रेत स्टॉक के लिए अनुमति खनिज विभाग से प्राप्त की थी जिसमे क्रमशः कमानपुरा,नुंहाटा,गौरई और सगरा में 30 जून2020 के रात 12 बजे तक ही रेत को जमा करना था,जिसमें मैंने दर्ज बयानों में कहा कि ग्राम सगरा,नुंहाटा के स्टॉक के स्थान पर कोई रेत डंप नहीं की गई और उसकी रॉयल्टी निरंतर उन वाहनों की काटी जा रही है जो वाहन सीधे नदी से रेत भरकर आ रहे हैं।
डॉ रमेश दुबे ने पावरमेक कम्पनी का दुर्दात चेहरा बेनकाम करते हुए जलीय जीवों की बेरहमी से हुई हत्या के सबूत पेश किए,जिसमे एक मगर की हत्या पनडुब्बी में फंसने के कारण बड़ेरी खुर्द खदान पर हुई है, जिसके फोटो मय लोकेशन के(जियो मैपिंग संलग्न) एडीएम को पेश किए।
डॉ रमेश दुबे ने कहा कि पॉवरमेक एक हत्यारी है, कम्पनी के द्वारा जलीय जीवों की लगातार हत्या की जा रही है, इस जघन्य अपराध एवं लगातार जारी अवैध उत्खनन के लिए पॉवरमेक कम्पनी के मालिक प्रणब रेड्डी, प्रवीण रेड्डी एवं जिले के जिम्मेदार खनिज विभाग अधिकारी आरपी भदकारिया पर तत्काल एफआईआर दर्ज होनी चाहिए।
डॉ रमेश दुबे ने प्रशासन को चेताते हुए कहा कि अगर प्रशासन के वरिष्ठ अधिकारी जिम्मेदार दोषियों पर एफआईआर दर्ज नहीं कराते हैं तो हम इसके लिए एनजीटी एवं माननीय उच्च न्यायालय में जनहित याचिका लगाएंगे।