भोपाल।लगातार दो तीन दिन से उठ रहे सियासी बवंबड के बाद कमलनाथ मंत्रिमंडल विस्तार की अटकलें तेज हो चली है। सियासी गलियारों में खबर है कि अंतकलह औऱ नाराजगी को थामने के लिए मुख्यमंत्री कमलनाथ फिर से मंत्रिमंडल का विस्तार कर सकते है। इसके तहत सभी मंत्रियों के इस्तीफे लेकर मंत्रिमंडल का पुर्नगठन किया जा सकता है। नए मंत्रिमंडल में नाराज विधायकों को मंत्री पद दिया जा सकता है ।इसमें एदल सिंह कंसाना, केपी सिंह, बिसहुलाल सिंह के साथ बसपा-सपा के विधायकों को मंत्रिमंडल में मौका मिलने की संभावना है।
वही मौजूदा मंत्रियों के विभाग कम किए जा सकते है।वही प्रदेशाध्यक्ष के ऐलान की भी चर्चाएं सरगर्म है।सुत्रों की माने तो कुछ मंत्रियों के विभाग कम कर निर्दलीय सदस्यों को मंत्री बनाया जा सकता है। वही मंत्रिमंडल के 5 खाली पदों और निगम-मंडलों में तत्काल नियुक्तियां की जा सकती है।माना जा रहा है कि नए मंत्रिमंडल में दिग्विजय और सिंधिया समर्थक कुछ मंत्रियों की छुट्टी हो सकती है। इनकी जगह सहयोगी दलों और निर्दलीयों को मंत्रिमंडल में जगह दी जा सकती है।
वही इस हाईवोल्टेज ड्रामे में मुख्य किरदार बनकर उभरे कांग्रेस नेता दिग्विजय सिंह भोपाल पहुंच चुके है।मीडिया से चर्चा के दौरान उन्होंने कहा कि मैं सीएम कमलनाथ के बुलावे पर यहां पहुंचा हूं। मध्य प्रदेश में कांग्रेस सरकार पर कोई संकट नहीं है। उन्होंने यह भी कहा कि मंत्रिमंडल का विस्तार होना चाहिए, उन्होंने कहा कि हरदीप सिंह डंग ने इस्तीफा नहीं दिया यह उनका स्टेटमेंट है। संजय पाठक सहित कई भाजपा विधायक हमारे संपर्क में हैं। कमलनाथ सरकार पूरी तरह से सुरक्षित है।
डंग के इस्तीफे ने सरकार की चिंता बढ़ा दी है वही अब भी 4 विधायकों बिसाहू लाल सिंह, सुरेंद्र सिंह शेरा.. हरदीप सिंह डंग और रघुराज सिंह कंसाना का पार्टी और मुख्यमंत्री का संपर्क नहीं हो पा रहा ।हालांकि चारों के बेंगलुरु में होने की खबर है। बिसाहूलाल सिंह के बेटे ने उनकी गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज करवा दी है।कांग्रेस से जुड़े सूत्रों का कहना है कि वापस आए विधायकों के साथ मुख्यमंत्री कमलनाथ ने लंबी बैठक की है। भाजपा पर पलटवार की रणनीति पर भी मंथन किया गया है, लेकिन इसे बेहद गोपनीय रखा जा रहा है।सुत्रों की माने तो डंग के बदले कमलनाथ सरकार बीजेपी के तीन विधायकों को तोड़ सकती है। इस बात के संकेत देर रात हुई मुख्यमंत्री निवास पर बैठक से लगाए ज रहे है, इस बैठक में नारायण त्रिपाठी , शरद कौल औऱ संजय पाठक भी शामिल थे। माना जा रहा है कि संजय पाठक पर कांग्रेस इस्तीफे का दबाव बना रही है। बीते दिनों ही उनकी दो खदानों को सील किया गया है, आगे भी बडी कार्रवाई की जा सकती है।ऐसे में सियासी गलियारों में कयास लगना शुरु हो गए है कि तीनों विधायक घर वापसी कर सकते है। हालांकि नारायण त्रिपाठी ने इस बात का खंडन किया है।देखना दिलचस्प होगा कि कमलनाथ सरकार और बीजेपी का अगल कदम क्या होता है।