MP के निजी स्कूलों झटका, स्कूल शिक्षा विभाग ने मांगा फीस का हिसाब, आदेश जारी

Pooja Khodani
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भोपाल, डेस्क रिपोर्ट। सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद मध्य प्रदेश के निजी स्कूलों (MP School) पर शिकंजा कसने लगा है। स्कूल शिक्षा विभाग ने सभी प्राइवेट स्कूलों (MP Private School) को आदेश जारी कर पूछा है कि कक्षा 1 से लेकर 12वीं के छात्रों से अबतक कितनी फीस ली गई। सभी निजी स्कूलों को 3 सितंबर तक इसकी पूरी जानकारी एजुकेशन पोर्टल पर अपलोड करना होगी, इसके बाद 4 सितंबर को इसे सार्वजनिक किया जाएगा, ताकी छात्रों और अभिभावकों भी देख सकें।

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दरअसल, हाल ही में मध्य प्रदेश के निजी स्कूलों द्वारा वसूली जा रही फीस (School fees) को लेकर दायर याचिका पर सुनवाई करते हुए सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) ने कहा था कि निजी स्कूलों को अपने ट्यूशन फीस सहित अन्य गतिविधि खर्च की जानकारी स्कूल शिक्षा विभाग (MP school education department) को उपलब्ध करानी होगी।निर्देशों के अनुसार, शिक्षा विभाग को पूरी जानकारी लेकर ऑनलाइन जमा करनी होगी और बताना होगा कि स्कूल छात्रों और अभिभावकों से कितनी और किस मद जैसे खेलकूद, वार्षिक कार्यक्रम, लाइब्रेरी और सांस्कृतिक एक्टिविटी समेत अन्य तरह की फीस ले रहे हैं।

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सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद स्कूल शिक्षा विभाग सख्त हो गया है। गुरुवार देर शाम इस संबंध में आदेश जारी कर दिए, जिसके तहत दो सप्ताह के अंदर यह जानकारी सार्वजनिक करना है। इस कारण विभाग ने स्कूलों को यह जानकारी देने के लिए 8 दिन का समय दिया है। निजी स्कूल संचालकों को 3 सितंबर तक हर हाल में फीस की पूरी जानकारी एजुकेशन पोर्टल पर अपलोड करना है। 4 सितंबर के बाद यहां इसे देखा जा सकेगा।फीस की जानकारी एजुकेशन पोर्टल educationportal.mp.gov.in पर अपडेट होगी। यहां इसे आम लोग देख सकेंगे।इधर नगरीय प्रशासन मंत्री भूपेन्द्र सिंह (Minister Bhupendra Singh) ने भी कहा है कि स्कूल खोलने पर जल्दबाजी नहीं करना चाहिए, इस पर फिर से विचार करना चाहिए।

MP के निजी स्कूलों झटका, स्कूल शिक्षा विभाग ने मांगा फीस का हिसाब, आदेश जारी

 

 


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खबर वह होती है जिसे कोई दबाना चाहता है। बाकी सब विज्ञापन है। मकसद तय करना दम की बात है। मायने यह रखता है कि हम क्या छापते हैं और क्या नहीं छापते। "कलम भी हूँ और कलमकार भी हूँ। खबरों के छपने का आधार भी हूँ।। मैं इस व्यवस्था की भागीदार भी हूँ। इसे बदलने की एक तलबगार भी हूँ।। दिवानी ही नहीं हूँ, दिमागदार भी हूँ। झूठे पर प्रहार, सच्चे की यार भी हूं।।" (पत्रकारिता में 8 वर्षों से सक्रिय, इलेक्ट्रानिक से लेकर डिजिटल मीडिया तक का अनुभव, सीखने की लालसा के साथ राजनैतिक खबरों पर पैनी नजर)

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