ओला-पाला से फसलें चौपट, मंत्रालय से बाहर नहीं निकली सरकार

Published on -
crops-destroy-from-natural-calamity-government-has-not-come-out-of-the-ministry-

भोपाल। प्रदेश में प्राकृतिक आपदा से फसलों को बड़े पैमाने पर नुकसान पहुंचा है, लेकिन सरकार की ओर से किसी भी पीड़ित किसान तक अभी तक किसी भी तरह की मदद नहीं पहुंचाई है। न ही मुख्यमंत्री से लेकर एक मंत्री भी किसानों की बीच नहीं पहुंचा है। जबकि किसानों की कर्ज के कांग्रेस सरकार में लौटी थी, अब किसानों से पूरी तरह से दूरी बना ली है। जबकि पूर्व की भाजपा सरकार प्राकृतिक आपदा की स्थिति में गांव-गांव तक पहुंच जाती थी। खास बात यह है कि अभी तक प्रदेश के किसी भी किसान को न तो कर्जमाफी का लाभ मिला है और न ही प्राकृतिक आपदा में कोई राहत मिली है। 

सरकारी आंकड़ों के अनुसार पिछले दिनों ओलावृष्टि से राज्य के एक दर्जन से ज्यादा जिलों के 440 से ज्यादा गांवों में फसलों को 35 फीसदी तक नुकसान पहुंचा। साथ ही प्रदेश में शीत लहर का प्रकोप जारी है, पाले की वजह से फसलों को नुकसान हो रहा है, लेकिन राज्य सरकार की ओर से अभी तक न तो कोई राहत कार्य शुरू किए हैं। किसी भी किसान को अभी तक कोई राहत नहीं पहुंचाई गई है। इधर राज्य सरकार किसानों की कर्जमाफी का ढिंढौरा पीट रही है। फिलहाल किसी से कर्जमाफी के लिए आवेदन बुलवाए जा रहे हैं, लेकिन माफी कब मिलेगी इस पर संशय की स्थिति बनी हुई है। 

ओला प्रभावित जिले

ओला की वजह से मुरैना, शिवपुरी, होशंगाबाद, जबलपुर, बालाघाट, छिंदवाड़ा, सिवनी, डिंडौरी, नरसिंहपुर, सिंगरौली, सतना, बैतूल, उमरिया समेत 15 जिलों के सैकड़ों गांवों में फसलें प्रभावित हुईं। इसी तरह मौसम विभाग के अनुसार प्रदेश शीत लहर की चपेट में है। पाले की वजह से फसलें खराब हो रही हैं। ओला प्रभावित जिलों में कृषि एवं राजस्व विभाग ने प्रारंभिक सर्वे का काम पूरा करा लिया है। खास बात यह है कि राज्य सरकार अभी तक यह फैसला नहीं ले पाई है कि प्रभावित किसानों को राहत मुहैया कब कराई जाए। 

सीएम, मंत्रियों को नहीं फुर्सत

कर्जमाफी का ढिंढौरा पीट रही राज्य सरकार के मंत्री, मुख्यमंत्रियों के पास प्राकृतिक आपदा की घड़ी में किसानों के बीच जाने की फुर्सत नहीं है। सीएम की शपथ लेने के बाद मुख्यमंत्री किसी गांव में नहीं पहुंचे। मंत्री गृह एवं प्रभार वाले जिलों में सिर्फ बैठकों तक सीमित हैं। कमलनाथ सरकार का कोई मंत्रियों के आपदा प्रभावित गांव में नहीं पहुंचा है। 

सरकार को घेर रहे शिवराज 

पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान लगातार फसलों के सर्वे और नुसकान की भरपाई के लिए सरकार को घेर रहे हैं| उन्होंने ट्वीट कर लिखा है पाले से सारी फ़सलें खत्म हो गई, कोई सर्वे नहीं हुआ, मुख्यमंत्री कमलनाथ के नेतृत्व वाली सरकार को तुरंत सभी काम छोड़ कर क्षेत्र में खराब हुई फसलों का निरीक्षण करवाकर किसानों को मुआवज़ा देने की व्यवस्था करवाना चाहिये।

पूरी सरकार को दौड़ा देते थे शिवराज

पूर्व की शिवराज सरकार प्राकृतिक आपदा की स्थिति में किसानों तक जाती थी। पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान खुद प्रभावित गांवों का दौरा करते, साथ ही मंत्री अफसरों को भी किसानों के बीच गांव-गांव भेज देते थे। लेकिन मुख्यमंत्री कमलनाथ न तो खुद किसी गांव में गए और न ही किसी मंत्री अफसर को गांव में भेजा। हालांकि कांग्रेस सरकार कर्जमाफी के जरिए किसान हितैषी होने की पूरी कोशिश कर रही है। 


About Author

Mp Breaking News

Other Latest News