दतिया।
इन दिनों प्रदेश मे बिजली चुनावी मुद्दा बना हुआ है।इसे आधार बनाकर विपक्ष की भूमिका निभा रही बीजेपी प्रदेश की कमलनाथ सरकार का जमकर घेराव कर रही है। मंगलवार को भी शिवराज ने इसे लेकर सरकार पर जमकर हमला बोला।खास बात ये रही कि जिस दौरान शिवराज बिजली मिलती है या नही जैसे सवाल जनता से पूछ रहे थे , तभी बत्ती गुल हो गई और सभा में हलचल मच गई। बाद में जनरेटर मंगवाया गया और सभा को जारी रखा। हालांकि कुछ देर बाद लाइट भी आ गई थी।
दरअसल, मंगलवार को पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने लोकसभा प्रत्याशी संध्या राय के समर्थन में सेवढ़ा में चुनावी सभा को संबोधित करने पहुंचे थे। इस दौरान उन्होंने जैसे ही प्रदेश में बिजली कटौती का मुद्दा उठाया तो उसी दौरान बिजली गुल हो गई। बाद में उनके भाषण के लिए जनरेटर की मदद लेना पड़ी। इस पर शिवराज बोले जनरेटर हमारा है अब कोई दिक्कत नहीं होगी। हालांकि कुछ देर बाद लाइन भी आ गई।
शिवराज का 20 मिनट का संबोधन पूरी तरह राज्य सरकार पर केंद्रित रहा। चौहान ने अपने भाषण की शुरूआत भानजे-भानजियों के साथ की तथा सबसे पहला सवाल किया कि क्या यहां मौजूद किसानों का पूरा ऋण माफ हो गया है। जवाब में पूरी सभा ने न कहा। उन्होंने कहा कि मेरे पास कांग्रेसी ऋण माफी की जानकारी लेकर आए और उसमें कृषि विभाग के पत्र दे गए जबकि ऋण कृषि विभाग को नहीं बैंक को माफ करना था। बैंकों को पैसे ही नहीं दिए फिर कैसे ऋण माफ हो जाता। सभा के दौरान भाजपा प्रत्याशी संध्या राय मौजूद नहीं रहीं। पूर्व मुख्यमंत्री निर्धारित समय से लगभग डेढ़ घंटे की देरी से पहुंचे।
बता दे कि यह पहला मौका नही है जब बत्ती गुल हुई हो। बीते दिनों छिंदवाड़ा मे जब मुख्यमंत्री कमलनाथ वोट डालने पहुंचे थे तब भी लाइट चली गई थी। इससे पहले कांग्रेस प्रत्याशी और पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय की सभा में भी लाइट चली गई थी जिसके बाद जनरेटर मंगवाना पड़ा था। वही कमलनाथ सरकार में मंत्री जीतू पटवारी को भी कई बार इस तरह के वाक्यों को सामना करना पड़ा है। इसके लिए कांग्रेस बीजेपी पर और बीजेपी कांग्रेस पर आरोप लगाती आ रही है।हालांकि कांग्रेस द्वारा कई अधिकारी-कर्मचारियों पर इसके लिए कार्यवाही भी की जा चुकी है लेकिन बत्ती गुल का सिलसिला जारी है।