भोपाल, डेस्क रिपोर्ट। मध्य प्रदेश (madhya pradesh) में लगातार बढ़े पेट्रोल-डीजल (petrol-diesal) के दामों ने आम आदमी की हालत खराब कर दी है। वहीं लगातार बढ़े पेट्रोल-डीजल के दाम पर अब विपक्ष ने भी सरकार से सवाल करना शुरू कर दिया है। कोरोना काल में भी दिसंबर 2019 के मुकाबले 2020 में सरकार को 1000 करोड़ से ज्यादा रुपए की कमाई हुई है। वही मार्च तक यह आंकड़ा 2000 करोड़ तक पहुंचने की उम्मीद है।
दरअसल कोरोना काल में मध्य प्रदेश के आबकारी विभाग ने 6500 करोड़ से अधिक की कमाई की है। वहीं इस साल के लिए फरवरी महीने में बजट (budget) पेश किया जाएगा। माना जा रहा है कि बजट में शिवराज सरकार कोरोना के समय लगाए गए टैक्स पर पुनर्विचार करेगी। वहीं सूत्रों की मानें तो फरवरी के आखिरी सप्ताह में होने जा रहे विधानसभा बजट सत्र में सरकार टैक्स में कमी कर सकती है।
इससे पहले कांग्रेस द्वारा पेट्रोल डीजल के बढ़ते दामों को देखते हुए सरकार से अतिरिक्त टैक्स हटाए जाने की मांग की गई है। बीजेपी द्वारा कहा गया कि सरकार ने कोरोना को पूरी तरह से वश में कर लिया है। अब बजट सत्र में सरकार आम जनता को राहत दे सकती है। वही जल्द ही सरकार कोरोना के समय लगाए गए टैक्स हटाने पर विचार करेगी।
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शिवराज सरकार के पास विजन नहीं- सज्जन सिंह वर्मा
इस मामले में कांग्रेस नेता सज्जन सिंह वर्मा (sajjan singh verma) का कहना है कि शिवराज सरकार ने आम जनता को 2 लाख करोड़ के कर्ज डाल दिया है। शिवराज सरकार के पास विजन नहीं है। वह प्रदेश के विकास के लिए प्रतिबद्ध नहीं है। इसके साथ ही सज्जन वर्मा ने कहा है कि सरकार आने वाले समय में जनता सरकार से सारा हिसाब मांगेगी।
जिन उत्पादों पर ज्यादा टैक्स, उनमें कटौती की जाएगी- बीजेपी नेता
वही टैक्स में हुई बढ़ोतरी पर बीजेपी नेता का कहना है कि कोरोना पर लगे अंकुश के बाद अब सारे सरकारी संस्थान खोले जा रहे हैं। जिससे हर जगह से रेवेन्यू आने शुरू हो जाएंगे। वहीं लगातार रेवेन्यू जनरेट होने के बाद मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान बजट सत्र में स्वयं ही लगाए गए टैक्स में कटौती करेंगे। वहीं बीजेपी नेता का कहना है कि बजट सत्र में जिन उत्पादों पर ज्यादा टैक्स पड़ रहे हैं। उनमें कटौती की जाएगी।