हेल्थ, डेस्क रिपोर्ट। पुदीना (mint) वनस्पति से प्राप्त होने वाली एक खास औषधी है आयुर्वेद में सदियों से पुदीने का इस्तेमाल औषधि के रुप में ही हो रहा है। क्योंकि इसमें विटामिन ‘ए ‘ पर्याप्त मात्रा में पाया जाता है इसमें मौजूद एंटीऑक्सीडेंट, एंटीबैक्टीरियल, एंटीवायरल और एंटीइंफ्लेमेटरी गुणों के कारण यह शरीर को कई फायदे पहुंचाता है। पुदिना अनेक रोगों को दूर करने वाली बूटी है पुदीने के सेवन से पाचन अग्नि तीव्र होती है। पुदीना (Pudina) सबसे ज्यादा अपने अनोखे स्वाद के लिए ही जाना जाता है। आइये जानते है इसके और क्या फायदे है…
>> ताजा पुदीना, पिण्ड खजूर, काली मिर्च, सेंधा नमक, हींग, काली द्राक्ष , जीरा व निम्बू के रस की चटनी के सेवन से गैस दूर होकर अग्नि मजबूत होती है
>> पुदीना, तुलसी, कालीमिर्च व अदरक का रस पानी के साथ लेने से वायु दूर होती है
>> पुदीना का ताजा रस कफ करता है, पुदीने व तुलसी का रस नियमित लेने से रोज आने वाले बुखार से मुक्ति मिलती है
>> पुदीने का ताजा रस शहद के साथ सेवन करने से आंतो की खराबी दूर होती है
>> पुदीने का ताजा रस अमृत के समान लाभकारी है इसीलिए पुदीना अनेक आयुर्वेदिक व एलोपैथी दवाइयों का प्रमुख घटक तत्व है।
दुनियाभर में पुदीने का इस्तेमाल खाद्य पदार्थों में विशेष फ्लेवर या खुशबू डालने के लिए भी इस्तेमाल किया जाता है। और हर घर की रसोई में यह पाया जाता है। पुदीना के पत्तों को ताजे या इन्हें सुखाकर व पाउडर बनाकर भी इस्तेमाल किया जा सकता है। इसमें विशेष तत्व होते हैं, जो शरीर को ठंडक प्रदान करें और मन को भी शांत रखें।
*Disclaimer :- यहाँ दी गई जानकारी अलग अलग जगह से जुटाई गई एक सामान्य जानकारी है। हमारी सलाह है कि पुदीना का प्रयोग करने से पहले अपने डॉक्टर से सलाह जरूर लें, उसके बाद ही उपयोग करें। MPBreakingnews इसकी पुष्टि नहीं करता है।