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Mon, Dec 15, 2025

आपस में कभी नहीं मिलता इन 2 महासागरों का पानी, जानें क्यों दिखता है अलग रंग

Written by:Sanjucta Pandit
इसके रास्ते लोग व्यापार भी करते हैं। मत्स्य पालन के लिए भी समुद्र या फिर महासागर बेहद कारगर होता है। महासागर में वैज्ञानिक द्वारा तरह-तरह के जलीय जीव खोजे जाते हैं।
आपस में कभी नहीं मिलता इन 2 महासागरों का पानी, जानें क्यों दिखता है अलग रंग

Waters of Two Oceans Never Mix : पृथ्वी पर 70% जल है, बाकी के 30% में जीव जंतु और मानव रहते हैं। जिनमें नदी समुद्र और महासागर है। समुद्र की लहरें जब शांत होती है, तो यह इंसान के लिए घातक नहीं होती, लेकिन जैसे ही यह अपना रौद्र रूप धारण करती है, तो इससे सुनामी, साइक्लोन जैसी स्थिति उत्पन्न हो जाती है। जिससे बहुत अधिक जान माल का नुकसान होता है। महासागर का हमारे जीवन से बहुत बड़ा कनेक्शन है। इनमें प्रशांत महासागर, अटलांटिक महासागर, हिंद महासागर, आर्कटिक महासागर और अंटार्कटिक महासागर है।

वहीं, इन दिनों सोशल मीडिया का जमाना है, जहां हम बहुत ही आसानी से स्क्रॉल करके अपने मन पसंदीदा चीज देख सकते हैं। जिन्हें समुद्र पानी आदि से ज्यादा लगाव होता है, वह अक्सर इन चीजों के बारे में गहराई से जानने का प्रयत्न करते हैं। ऐसे में अक्सर आपने देखा या सुना होगा कि दो महासागर का पानी कभी नहीं मिलता। यह आधा नीला, तो आधा सफेद नजर आता है।

छुपे हैं अनगिनत राज

महासागर में अथह पानी है। यदि आप किसी बीच के किनारे वेकेशन मनाने जाते हैं, तो आपको पानी और आकाश के अलावा आगे कुछ भी नहीं नजर आता होगा। इसके शुरुआत और अंतिम छोर की कोई सीमा नहीं होती। समुद्र की गहराइयों में अनगिनत राज छुपे हुए हैं। एक से बढ़कर एक समुद्री मछलियां, जीव, जंतु, आदि इसमें रहते हैं। ऐसे में आज हम आपको उन दो महासागरों के बारे में बताएंगे, जिनका पानी आपस में कभी भी नहीं मिलता। समुद्र में इसका अंतर साफ तरीके से दिखाई देता है, लेकिन इसके पीछे की वजह क्या है, यह बहुत कम लोगों को पता होता है।

नहीं मिलता दो महानगरों का पानी

दरअसल, इन दोनों महासागरों का नाम हिंद महासागर और प्रशांत महासागर है। दोनों महासागर के पानी का रंग अलग-अलग नजर आता है। इसके पीछे की बड़ी वजह पानी का घनत्व, तापमान और लवणता है, जो इन दोनों के अलग होने की वजह है। यह दोनों महासागर एक-दूसरे से मिलते तो जरूर हैं, लेकिन इनका पानी कभी भी नहीं मिश्रित होता। मीठे और खारे पानी का घनत्व होने के कारण ऊपरी सतह पर यह पूरी तरह से नहीं मिल पाता, जिस कारण दोनों महासागर अलग-अलग नजर आते हैं।

नजारा है अलग

वहां का खूबसूरत नजारा काफी ज्यादा अलग है। वहीं, सूरज की किरणें पड़ने के कारण दोनों महासागरों के पानी का रंग साफ तौर पर अलग नजर आता है। यही कारण है कि उनकी सीमाएं आपस में मिल जाती है, लेकिन दोनों का पानी कभी भी एक दूसरे से नहीं मिलता। हाल ही में सोशल मीडिया पर इस जगह की तस्वीरें और वीडियोज खूब वायरल हुई थी।