भोपाल। आर्थिक संकट से जूझ रही मध्य प्रदेश सरकार फिजूलखर्ची पर कटौती कर रही है। सरकारी खजाने का बूझ कम करने अब प्रदेश के वित्त मंत्री तरूण भनोत खुद आगे आए हैं उन्होंने प्रदेश में आने वाले अतिथियोंं का सत्कार करने का फैसला लिया है। जो भी खर्च आएगा वह खुद वहन करेंगे। इसके लिए उन्होंने सामान्य प्रशासन विभाग को नोटशीट भी भेज दी है। सत्कार पर खर्च होने वाली राशि सरकारी खजाने से खर्च नहीं होगी। भ
दरअसल, प्रदेश सरकार पर करीब दो लाख करोड़ का कर्ज पूर्व सरकार के समय का है। वर्तमान सरकार ने फिजूल खर्ची रोकने के लिए मंत्री अफसरोंं की एक से अधिक कारों के उपयोग पर रोक लगा दी है। वहीं, अब खुद वित्त मंत्री की ये पहल सबको जागरूक करने वाली है। ऐसे करने वाले वह पहले मंत्री होंगे। मितव्ययिता के नाम पर अब तक मंत्री सरकारी खर्चों में कटौती की बात करते रहे हैं, लेकिन किसी ने भी खुद से इसकी शुरुआत नहीं की। वित्त मंत्री का पत्र मिलने के बाद सामान्य प्रशासन विभाग ने इसे मंत्रालय के अधीक्षक को भेज दिया है। मंत्रालय की नई एनेक्सी बीवी-2 में तीसरी मंजिल पर स्थित वित्त मंत्री भनोत के कार्यालय में आगे से सत्कार पर होने वाले व्यय का बिल का भुगतान अब जीएडी से होने के बजाय सीधे वित्त मंत्री के निजी स्टाफ के माध्यम से वित्त मंत्री को भेजा जाएगा। इसके बाद वित्त मंत्री स्वयं उसका भुगतान करेंगे।
अलग से है सत्कार मद
मंत्रालय में मंत्रियों से भेंट करने आने वाले आगंतुकों और अधिकारियों के लिए चाय, बिस्किट, दही, लस्सी, छाछ और समय-समय पर नाश्ता आदि मंगाया जाता है। मंत्रालय में इसके लिए इंडियन कॉफी हाउस और सांची का पार्लर संचालित है। मंत्रियों और अधिकारियों के कक्षों में सत्कार के लिए लगने वाली खाद्य सामग्री आदि का भुगतान सामान्य प्रशासन विभाग द्वारा किया जाता है। इसके लिए अलग से सत्कार मद है।