भोपाल, डेस्क रिपोर्ट। आने वाले समय में राज्य पिछड़ा आयोग (State Backward Commission) और भी प्रभावी होगा और काम तेजी से किया जाएगा। इसके लिए मध्यप्रदेश (Madhya Pradesh) राज्य पिछड़ा वर्ग आयोग के गठन संबंधी प्रावधानों में संशोधन किया गया है।खास बात इसमें अब महिलाओं की भी नियुक्ति की जाएगी।
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दरअसल, प्रदेश में राज्य पिछड़ा वर्ग आयोग को प्रभावी बनाने के लिये मध्यप्रदेश राज्य पिछड़ा वर्ग आयोग (Madhya Pradesh State Backward Classes Commission) के गठन संबंधी प्रावधानों में संशोधन किया गया है। आयोग के लिये 5 अशासकीय सदस्यों की नियुक्ति ऐसे व्यक्तियों से की जायेगी, जो पिछड़े वर्गों से संबंधित मामलों का ज्ञान रखते हों तथा उनके कार्य के लिये जाने जाते हों। नियुक्त 5 सदस्यों में से अध्यक्ष के रूप में एक सदस्य तथा एक अन्य सदस्य उपाध्यक्ष के रूप में नियुक्त किया जायेगा। अध्यक्ष और कम से कम दो अन्य सदस्य पिछड़े वर्ग से संबंधित व्यक्ति होंगे और कम से कम एक सदस्य महिलाओं में से भी नियुक्त किया जायेगा।
बता दे कि राज्य पिछड़ा वर्ग आयोग का काम पिछड़ा वर्ग की सूची में जातियों को जोड़ने / विलोपित करने की अनुशंसा करना, पिछड़े वर्ग के लिए संचालित कार्यक्रमों / योजनाओं की मॉनिटरिंग करना, क्रीमीलेयर की सीमा के सम्बन्ध में अनुशंसा करना, लोक सेवाओं एवं शैक्षणिक संस्थाओ में आरक्षण के सम्बन्ध में सलाह देना, पिछड़े वर्गों के संरक्षण के लिए हितप्रहरी के रूप में कार्य करना है।