Dabra News : डबरा कृषि उपज मंडी में अधिकारियों और कर्मचारियों के द्वारा लापरवाही और प्रशासन की आंखों में धूल झोंकने का मामला सामने आया है बता दें कि ट्रक एसोसिएशन द्वारा डबरा कृषि उपज मंडी के संबंध में प्रशासन को ज्ञापन सौंपा गया जिसमें ट्रक एसोसिएशन के लीडरों ने डबरा कृषि उपज मंडी के सचिव अधिकारियों और कर्मचारियों पर राजस्व की टैक्स चोरी और प्रशासन के आदेश की अवहेलना करने के गंभीर आरोप लगाए हैं।
यह है पूरा मामला
ट्रक एसोसिएशन के लीडर जसपिंदर गिल ने मंडी सचिव पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि डबरा मंडी में कमर्शियल वाहनों की आड़ में अन्य ट्रैक्टर ट्रॉलियों का इस्तेमाल हो रहा है जिससे उनके ट्रकों को समय पर भाड़ा उपलब्ध नहीं हो पाता और उनकी गाड़ियां खड़ी रहती है ऐसे में वह अपने वाहनों का संपूर्ण टैक्स चुकाने के बाद और वाहनों का लाखों रुपए का मेंटेनेंस कराने के बाद भी उन्हें नुकसान हो रहा है क्योंकि डबरा मंडी में नॉन कमर्शियल वाहन चलने के कारण उन्हें तो नुकसान का सामना करना पड़ता ही है लेकिन सबसे बड़ी बात यह है कि राजस्व का भी बहुत बड़ा नुकसान इससे हो रहा है क्योंकि 1 गेट पास से कई मालवाहक ट्रैक्टर ट्रॉलियों गेट से पास की जाती है जिससे टैक्स ना देना पड़े जिसके कारण राजस्व की भी हानि हो रही है। वहीं मंडी परिसर में जो नॉन कमर्शियल ट्रैक्टर ट्रॉलियों का इस्तेमाल किया जा रहा है उनमें से कई में तो नाम नंबर प्लेट भी नहीं है अगर इन वाहनों से शहर में कोई दुर्घटना होती है तो इसका जिम्मेदार कौन होगा।
उन्होंने यहाँ तक कहा कि डबरा एसडीएम कोर्ट से 2017 में एक फैसला हुआ था जिसमें नॉन कमर्शियल वाहनों पर मंडी में रोक लगाई गई थी और ओवरलोडिंग पर भी रोक लगाई गई थी अंडर लोडिंग का आदेश दिया गया था। लेकिन मंडी प्रशासन और मंडी सचिव की मिलीभगत से यह सब खेल चल रहा है और डबरा एसडीएम कोर्ट द्वारा 2017 के उन आदेशों की अवहेलना और अनदेखी की जा रही है। इस मामले को संज्ञान में लेते हुए एसडीएम ने मंडी सचिव को इन समस्याओं का निराकरण करने के लिए भी कहा था लेकिन मंडी सचिव और मंडी कर्मचारियों के द्वारा प्रशासन के आदेश की अवहेलना की जा रही है। इस संबंध में ट्रक एसोसिएशन और व्यापारियों सहित मंडी सचिव के समक्ष 27 अप्रैल को एक मीटिंग हुई जिसमें भी मंडी सचिव ने कोई हल नहीं निकाला।
ट्रक एसोसिएशन के सदस्यों और लीडरों का कहना है कि उनकी कहीं पर कोई सुनवाई नहीं हो रही ना तो प्रशासन उनकी सुन रहा और ना ही मंडी के अधिकारी उन्होंने प्रशासन को चेतावनी देते हुए कहा कि अगर उनकी मांगो को पूरा ना किया गया और उनकी समस्याओं को जल्द ही दूर नहीं किया गया तो वह अपनी गाड़ियां खड़ी करके मंडी में चक्का जाम करेंगे। बड़ी बात तो यह है कि जब मीडिया द्वारा डबरा मंडी सचिव से इस बारे में जानकारी लेते हुए बात की गई तो वह इन समस्याओं के संबंध में मीडिया से दरकिनार होते नजर आए उन्होंने मंडी में चल रही इन समस्याओं के संबंध में साफ तौर से कुछ भी कहने और जानकारी देने से मना कर दिया। ऐसे में साफ तौर से अंदाजा लगाया जा सकता है कि डबरा कृषि उपज मंडी में क्या खेल चल रहे हैं।
डबरा से अरुण रजक की रिपोर्ट