भोपाल, डेस्क रिपोर्ट। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की अध्यक्षता में मंगलवार को हुई मंत्रि-परिषद की बैठक (shivraj cabinet meeting) में निर्णय लिया गया कि प्रदेश के सभी नागरिकों को ऊर्जा साक्षर बनाने के लिये प्रदेश स्तर पर ”ऊर्जा साक्षरता अभियान”(Energy Literacy Campaign) चलाया जायेगा। अभियान के माध्यम से प्रदेश के नागरिकों को ऊर्जा बचत की जानकारी दी जायेगी। बैठक में तय हुआ कि इसकी शुरुआत 25 नवम्बर से होगी। इस अभियान स्कूल, कॉलेज के साथ जन सामान्य को जोड़ा जायेगा। बड़ी बात ये है कि “ऊर्जा साक्षरता अभियान” शुरू करने वाला मध्य प्रदेश देश का पहला राज्य होगा।
ऊर्जा साक्षरता अभियान में प्रदेश के सभी नागरिकों को समयबद्ध कार्य-योजना अनुसार ऊर्जा साक्षर बनाने के प्रयास किए जाएंगे। इसमें जन-सामान्य में ऊर्जा के व्यय एवं अपव्यय की समझ विकसित करना, ऊर्जा के पारम्परिक एवं वैकल्पिक साधनों की जानकारी देना एवं उनका पर्यावरण पर प्रभाव की समझ पैदा करना, ऊर्जा एवं ऊर्जा के उपयोग के बारे में सार्थक संवाद, ऊर्जा संरक्षण एवं प्रबंधन के बारे में जागरूकता, ऊर्जा उपयोग के प्रभावों, परिणामों की समझ के आधार पर इसके दक्ष उपयोग हेतु निर्णय लेने की दक्षता उत्पन्न करना, पर्यावरणीय जोखिम एवं जलवायु परिवर्तन के नकारात्मक प्रभाव को कम करना और विभिन्न ऊर्जा तकनीकों के चयन हेतु सक्षम बनाना जैसी गतिविधियाँ आयोजित की जाएंगी।
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बैठक में कहा गया कि ग्लोबल वार्मिंग और जलवायु परिवर्तन के प्रभाव से निपटने की दिशा में कदम बढ़ाते हुए राज्य सरकार द्वारा “ऊर्जा साक्षरता अभियान” प्रारम्भ किया जा रहा है। इस अनूठे अभियान के माध्यम से स्कूलों एवं कॉलेजों के विदयार्थियों एवं जन-साधारण को ऊर्जा और ऊर्जा की बचत के विषय में जानकारी दी जायेगी। अभियान को एक मिशन के रूप में क्रियान्वित किया जायेगा।
प्रदेश में 25 नवंबर से ऊर्जा साक्षरता अभियान चलाया जाएगा।
आमजन और स्कूली बच्चों को इस अभियान से जोड़कर बिजली का अपव्यय रोकने और इसके सदुपयोग पर जागरूकता फैलाई जायेगी।#Cabinet #CabinetDecisions pic.twitter.com/HdJRkTdgkc
— Dr Narottam Mishra (Modi Ka Parivar) (@drnarottammisra) November 23, 2021