जीवाजी यूनिवर्सिटी ग्वालियर में मंत्री ले रहे थे बैठक, NSUI ने किया हंगामा, ज्ञापन देने की जिद पर पुलिस से झड़प, हिरासत में छात्र नेता

कुछ नेता जब फिर भी जबरदस्ती करने लगे तो पुलिस ने उन्हें घसीटते हुए पुलिस वेन मे बैठाया और हिरासत में ले लिया।

Atul Saxena
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NSUI JU Gwl

NSUI  ruckus at Jiwaji University : जीवाजी विश्वविद्यालय पर आज उच्च शिक्षा मंत्री इंदर सिंह परमार की बैठक के दौरान एनएसयूआई ने जमकर हंगामा किया, ज्ञापन देने के लिए गेट पर इकट्ठा हुआ छात्र नेताओं ने बीच मीटिंग में जाकर ज्ञापन देने की जिद की जिसपर पुलिस ने उन्हें रोक दिया, पुलिस के रोकने पर छात्र नेता जबरदस्ती करने लगे लेकिन पुलिस ने उन्हें खदेड़ दिया और कुछ नेताओं को हिरासत में ले लिया।

नैक ए प्लस प्लस का दर्जा प्राप्त जीवाजी यूनिवर्सिटी में आज एक बार फिर उस वक्त हंगामा खड़ा हो गया जब उच्च शिक्षा मंत्री इंदर सिंह परमार स्टाफ के साथ मीटिंग कर रहे थे, मंत्री की मौजूदगी की जानकारी मिलने पर भारतीय राष्ट्रीय छात्र संगठन के नेता गेट पर इकट्ठा हो गए, कुछ देर छात्र नेता वहीं खड़े रहे फिर अन्दर घुसने की कोशिश करने लगे तो पुलिस ने उन्हें रोक दिया।

भ्रष्टाचार और अनियमितता की शिकायत करने इकट्ठा हुए NSUI छात्रों का हंगामा 

पुलिस द्वारा छात्रों को रोके जाने पर वे भड़क गए, उनका कहना था कि विश्वविद्यालय में चल रहे भ्रष्टाचार और अनियमितता की शिकायत हमें मंत्री से करनी है और आप हमें रोक नहीं सकते, पुलिस अधिकारियों ने समझाने की कोशिश की कि मीटिंग के बाद शांति पूर्ण तरीके से ज्ञापन दे देना, इसी दौरान कुछ छात्र नेताओं में जबरदस्ती कैम्पस में घुसने की कोशिश की जिसपर पुलिस ने उन्हें बलपूर्वक रोक दिया।

पुलिस के साथ झूमाझटकी, हिरासत में छात्र नेता  

पुलिस के एक्शन देखकर छात्र नेता भी भड़क गए और दोनों के बीच झूमाझटकी होने लगी फिर पुलिस ने छात्रों को वहां से हल्का बल प्रयोग कर खदेड़ दिया, कुछ नेता जब फिर भी जबरदस्ती करने लगे तो पुलिस ने उन्हें घसीटते हुए पुलिस वेन मे बैठाया और हिरासत में ले लिया।

हंगामे की आशंका के चलते JU पर तैनात था पुलिस फ़ोर्स 

डीएसपी संतोष पटेल का कहना था कि बैतःक चल रही थी छात्र नेता ज्ञापन देने की जिद कर रहे थे, हंगामे की आशंका के चलते यहाँ फ़ोर्स बुला लिया गया था, छात्रों को समझाने की कोशिश की गई लेकिन जब वे नहीं माने तो उन्हें भगा दिया और उनके कुछ नेताओं को हिरासत में ले लिया है।

ग्वालियर से अतुल सक्सेना की रिपोर्ट 


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पत्रकारिता मेरे लिए एक मिशन है, हालाँकि आज की पत्रकारिता ना ब्रह्माण्ड के पहले पत्रकार देवर्षि नारद वाली है और ना ही गणेश शंकर विद्यार्थी वाली, फिर भी मेरा ऐसा मानना है कि यदि खबर को सिर्फ खबर ही रहने दिया जाये तो ये ही सही अर्थों में पत्रकारिता है और मैं इसी मिशन पर पिछले तीन दशकों से ज्यादा समय से लगा हुआ हूँ....पत्रकारिता के इस भौतिकवादी युग में मेरे जीवन में कई उतार चढ़ाव आये, बहुत सी चुनौतियों का सामना करना पड़ा लेकिन इसके बाद भी ना मैं डरा और ना ही अपने रास्ते से हटा ....पत्रकारिता मेरे जीवन का वो हिस्सा है जिसमें सच्ची और सही ख़बरें मेरी पहचान हैं ....

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