बैतूल, वाजिद खान। जिला मुख्यालय पर पति पत्नी का हाइवोल्टेज ड्रामा देखने को मिला, जहाँ पति की हरकतों से परेशान पत्नी ने उसे सबक सिखाया। सबक सिखाने के लिए पत्नी ने दूसरी युवती बनकर पति को मिलने बुलाया और जब पति मिलने पहुँचा तो अपनी पत्नी और उसकी बड़ी बहन और उसकी सहेलियों के देख भागने लगा। जिसके बाद महिलाओं ने झूमाझटकी कर पति की जमकर पिटाई कर दी।
मामला बैतुल का जहां दूसरी महिलाओं के चक्कर में फंसे पति को जब पत्नी ने रंगे हाथों पकड़ा तो उसने अपनी बहन और सहेलियों के साथ उसकी अच्छे से खातिरदारी की। लेकिन पुलिस ने उल्टा पत्नी और उनकी बहनों के साथ ही गाली गलौच शुरू कर दी। तस्वीरों में साफ देखा जा सकता है कि पुलिस का आरक्षक किस तरह महिलाओं को बेइज्जत कर रहा है । हद तो तब हो गयी जब कोतवाली में पदस्थ जांच अधिकारी ने महिलाओं को ही दोषी ठहराते हुए जबरदस्ती के आरोप लगाने का बात कह दी।
पूरे मामले को लेकर कलमता उइके ने बताया कि स्वास्थ्य विभाग में पदस्थ बसंत उइके का विवाह 2016 में उसके साथ हुआ था । दूसरी महिलाओं के चक्कर में अक्सर उसका पति उसके साथ प्रताड़ना और मारपीट करता था । पति को पकड़ने के लिए कलमता ने दूसरी महिला बनकर पति से बात चीत की और उसे मिलने बुला लिया। जैसे ही पति मौके पर पहुंचा तो अपनी पत्नी और उसकी बहनों को वहां से भागने लगा। जिसके बाद कमलती ने पति देव की बीच सड़क पर आरती उतारनी शुरु कर दी ।
पत्नी ने सुनाई अपनी आप बीतीhttps://t.co/2EIrsL0l8W pic.twitter.com/cCmosJwvIu
— MP Breaking News (@mpbreakingnews) February 4, 2021
मामले की जानकारी लगते हि पुलिस मौके पर पहुंची। लेकिन महिलाओं के प्रति संवेदनशीलता बरतने के बजाए पुलिस उन्हें ही गालियां देने लगी। जिसके बाद महिलाओं के प्रति पुलिस का एक गैर जिम्मेदाराना रवैया देखने को मिला । यही नही इस रवैये का जब महिलाओं ने विरोध किया तो महिला पुलिसकर्मियों समेत सभी पुलिस कर्मी महिलाओं को ही दोषी बताकर अभद्रता करने लगे। जिससे साफ है कि महिलाओं के प्रति किये जा रहे पुलिस के प्रयास आडम्बर से ज्यादा कुछ नही है ।