इंदौर, आकाश धोलपुरे। इंदौर (Indore) में मोहर्रम और गणेश स्थापना से लेकर गणेश विसर्जन चल समारोह तक के संबंध में शांति समिति की बैठक आयोजित की गई थी जिसमे धर्मगुरुओं के साथ जनप्रतिनिधियों से भी प्रशासन ने संवाद कर सोशल गेदरिंग के संबंध में स्पष्ट दिशा निर्देश दिए थे बावजूद इसके शहर के खजराना थाना क्षेत्र में हजारो की संख्या में धर्मालम्बी एकत्रित हुए और उन्होंने ताजिये और जुलूस भी निकाला। इस मामले के सोशल मीडिया पर वायरल होने के बाद अब इंदौर प्रशासन और पुलिस पर सवाल उठ रहे है जिसके चलते इंदौर जिला कलेक्टर मनीष सिंह अपने मातहत अधिकारियों और पुलिस अधिकारियों से नाराज दिखाई दिए है।
कलेक्टर मनीष सिंह (Collector Manish Singh) ने स्पष्ट किया है कि इस मामले में किसी को बख्शा नही जाएगा और फितरत फैलाने वालों के साथ ही गलत मैसेज चलाने वालों पर रासुका के तहत कार्रवाई की जाएगी और इस संबंध में उन्होंने डीआईजी हरिनारायण चारि मिश्र से चर्चा भी की है। बता दे कि खजराना जुलूस मामले मामले में अब तक पूर्व पार्षद उस्मान पटेल सहित 16 लोगो को नामजद आरोपी बनाया गया है और उन पर प्रकरण दर्ज किया गया है। इधर, कलेक्टर मनीष सिंह ने खजराना आयोजन में क्षेत्रीय एसडीएम, सीएसपी और टीआई की लापरवाही भी मानी है और एसडीएम को तो इस मामले को लेकर शोकाज नोटिस भी भेजा जा रहा है। इधर, कलेक्टर मनीष सिंह ने अधिकारियों को सचेत। भी कर दिया है कि हर मामले पर वो स्वयं निगरानी रखे और जरूरत पड़ने पर आला अधिकारियों से सम्पर्क करे। कुल मिलाकर खजराना क्षेत्र में कोविड नियमो की धज्जियां उड़ाने वालो पर प्रशासन अब सख्त हो गया है और प्रशासन ने ये भी स्पष्ट कर दिया है कि शहर में सोशल गेदरिंग संबंधी कोई भी धार्मिक गतिविधियां संचालित होगी तो पुलिस और प्रशासन सख्त कार्रवाई करेगा।