जबलपुर, डेस्क रिपोर्ट। मध्य प्रदेश हाई कोर्ट (MP High Court) ने एक और अहम फैसला सुनाया है। हाई कोर्ट ने एक रिटायर डीएसपी को वेतन मामले में बड़ी राहत दी है। जबलपुर हाई कोर्ट ने निर्देश दिए है याची को मध्य प्रदेश शासन की नीति के अनुरूप समयमान वेतनमान का भुगतान बकाया राशि के साथ किया जाए।
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मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, जबलपुर हाई कोर्ट के न्यायमूर्ति मनिंदर सिंह भट्टी की एकलपीठ ने सेवानिवृत्त डीएसपी अशोक राणा की याचिका का इस निर्देश के साथ पटाक्षेप कर दिया कि याचिकाकर्ता को एक जुलाई, 2014 से तीसरे समयमान वेतनमान का लाभ बकाया राशि सहित प्रदान किया जाए।
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, हाई कोर्ट में सेवानिवृत्त डीएसपी अशोक राणा की तरफ से अधिवक्ता ने दलील दी गई कि राज्य शासन द्वारा सरकारी कर्मचारियों को 10,20,30 साल के निश्चित अन्तराल पर पदोन्नति न मिलने की स्थिति में अगले पद का वेतनमान देने की नीति बनाई गई थी, जो कि अब भी लागू है। बावजूद इसके याचिकाकर्ता को अबतक इसका लाभ नहीं दिया गया है।
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इतना ही नहीं पूर्व में विभागीय पदोन्नति समिति की प्रक्रिया को चुनौती देने पर हाई कोर्ट ने उसे दूषित पाकर निरस्त कर दिया था, उन्होंने मांग की याची को उसके हक का लाभ मिले।इस केस की सुनवाई करते हुए हाई कोर्ट ने सभी बिंदुओं पर गौर करने के बाद याचिकाकर्ता के हक में आदेश सुनाया और भुगतान करने के निर्देश दिए।
बता दे कि बीते साल 10 फीसद पेंशन रोकने से संबंधित मामले में भी हाई कोर्ट ने रिटायर डीएसपी को राहत दी थी। मुख्य न्यायाधीश रवि मलिमठ व जस्टिस विजय कुमार शुक्ला की युगलपीट ने राज्य सरकार की उस अपील को खारिज कर दिया था, जिसमें राणा के पक्ष में पारित आदेश को चुनौती दी गई थी। एकलपीठ ने उस आदेश को निरस्त कर दिया था, जिसमें 10 फीसदी पेंशन कम करने कहा गया था। इस आदेश के खिलाफ राज्य सरकार ने हाई कोर्ट में अपील पेश की थी।