जबलपुर पुलिस ने अंधे कत्ल का किया बड़ा खुलासा, दो आरोपी गिरफ्तार

Amit Sengar
Published on -

Jabalpur News : जबलपुर जिले में एक माह पहले तालाब में मिली बदमाश अनिराज नायडू की लाश के मामले का पुलिस ने आरोपियों का खुलासा कर दिया है। इस मामले में कुख्यात फरार गैंगस्टर सुयश उर्फ छोटू चौबे की गैंग कामरान अली और अनुश्रेय राय को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है, जबकि मामले में सुयश उर्फ छोटू चौबे और मोहम्मद आदिल फरार बताये जा रहे हैं, जिनकी तलाश की जा रही है।

क्या है पूरा मामला

बता दें कि 1 दिसंबर 2023 को माढोताल थाना क्षेत्र स्थित ग्रीनसिटी कठौंदा कंपोस्ट प्लांट के समीप तालाब में लाश पड़े होने की सूचना पुलिस को प्लांट सुपरवाइजर द्वारा दी गई थी। शिनाख्त करने पर मृतक की पहचान 37 वर्षीय अनिराज नायडू उर्फ अन्ना निवासी पीरबक्स लाइन सांई मंदिर के बाजू में रसल चौक के रूप में की गई थी। मृतक अनिराज नायडू भी ओमती पुलिस की गुंडा बदमाश की सूची में शामिल था। पोस्टमार्टम की रिपोर्ट में मृतक के सिर पर गोली लगने की बात सामने आई थी। जिसके बाद पुलिस ने जांच करते हुए संदेह के आधार पर मृतक के साथियों और दूसरी गैंग में शामिल लोगों से सघन पूछताछ की, जिस पर आरोपियों का खुलासा हो गया।

इस मामले में पुलिस ने जब आरोपी कामरान अली से पूछताछ की तो उसने बताया कि वह नवम्बर माह में छोटू चौबे के साथ फ्लाइट से मुंबई से जबलपुर आया था। गैंग में शामिल अनिराज उर्फ अन्ना नायडू सबकी अच्छी दोस्ती थी। वहीं अन्ना नायडू का छोटू चौबे के विरोधियों के साथ उठना बैठना ज्यादा हो गया था। और अन्ना नायडू अपनी अलग गैंग बनाकर छोटू चौबे को चुनौती देने लगा था। जिसके चलते छोटू चौबे, अन्ना नायडू से शत्रुता रखने लगा था। गैंगस्टर छोटू चौबे से विवाद होने के बाद आरोपियों ने अनिराज की हत्या करने का प्लान बनाया। इसी दौरान एक दिन गैंग के साथी अनुश्रेय ने बताया कि अनिराज शराब पीने के बाद उसके घर में सो रहा है। खबर मिलने पर छोटू चौबे, कामरान और आदिल, अनुश्रेय के घर पहुंचे और नायडू के सिर पर पिस्टल से गोली मारकर उसकी हत्या कर दी।

जबलपुर से संदीप कुमार की रिपोर्ट


About Author
Amit Sengar

Amit Sengar

मुझे अपने आप पर गर्व है कि में एक पत्रकार हूँ। क्योंकि पत्रकार होना अपने आप में कलाकार, चिंतक, लेखक या जन-हित में काम करने वाले वकील जैसा होता है। पत्रकार कोई कारोबारी, व्यापारी या राजनेता नहीं होता है वह व्यापक जनता की भलाई के सरोकारों से संचालित होता है।वहीं हेनरी ल्यूस ने कहा है कि “मैं जर्नलिस्ट बना ताकि दुनिया के दिल के अधिक करीब रहूं।”

Other Latest News