Morena News : मायकेवालों ने बेटी के ससुराल के दरवाजे पर किया अंतिम संस्कार, जानें पूरा मामला

Amit Sengar
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Morena Funeral News : मुरैना जिले से हैरान कर देने वाला मामला सामने आया हैं जहाँ महिला की मौत के बाद उसके मायके पक्ष के लोगों ने ससुराल के दरवाजे पर महिला का अंतिम संस्कार किया हैं। 1 साल की मासूम बच्ची ने मां को मुखाग्नि दी, यह नजारा देखकर हर कोई दंग रह गया और आंखों में आंसू भर आए।

मायके पक्ष के लोगों ने ससुराल वालों पर बेटी की हत्या करने का गंभीर आरोप लगाया कहा कि बेटी को शादी के बाद से ही दहेज के लिए प्रताड़ित किया जा रहा था ।बेटी की मौत के बाद उसके ससुराल पक्ष के लोग घर में शव को छोड़कर भाग गए। जिसके बाद मायके पक्ष के लोगों ने बेटी के ससुराल के दरवाजे पर ही अंतिम संस्कार कर दिया।

यह है मामला

जानकारी के मुताबिक मामला सुमावली थाना क्षेत्र के ग्राम लोहबसई का है जहां पर एक महिला का शव फांसी के फंदे पर झूलता मिला। प्रथम दृष्टया जांच में यह मालूम चल रहा है कि महिला ने फांसी लगाकर आत्महत्या की है परंतु महिला के मायके पक्ष के लोगों का कहना है कि ससुराल पक्ष के लोगों ने उसकी हत्या की है। बताया जा रहा है कि ससुराल पक्ष के लोग अपने ट्रैक्टर ट्रॉली में भरकर सामान और मवेशियों को लेकर परिवार के साथ फरार हो गए और घर पर ही शव पड़ा रहा, घटना की सूचना पुलिस को दी गई और पुलिस ने शव का पोस्टमार्टम कराया था।

परिजनों ने लगाए आरोप

महिला के मायके पक्ष के परिजनों का आरोप है कि किरण की हत्या की गई है जब तक एफआईआर दर्ज नहीं होगी तब तक अंतिम संस्कार नहीं होगा। पुलिस ने मामला दर्ज किया। जिसके बाद 36 घंटे बाद केरल से मायके पक्ष के लोगों ने ससुराल के घर के अंदर अंतिम संस्कार करने लगे उन्हें समझाया गया कि अंदर अंतिम संस्कार नहीं किया जाता। जिसके बाद घर के दरवाजे पर पुलिस की निगरानी में मायके पक्ष के लोगों ने मृतिका किरण का अंतिम संस्कार किया। बता दें कि मृतिका किरण की एक वर्षीय बच्ची है जिसके हाथों मुखाग्नि दिलवाई गई हालांकि पुलिस पूरे मामले पर जांच पड़ताल कर रही है।
मुरैना से संजय दीक्षित की रिपोर्ट


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मुझे अपने आप पर गर्व है कि में एक पत्रकार हूँ। क्योंकि पत्रकार होना अपने आप में कलाकार, चिंतक, लेखक या जन-हित में काम करने वाले वकील जैसा होता है। पत्रकार कोई कारोबारी, व्यापारी या राजनेता नहीं होता है वह व्यापक जनता की भलाई के सरोकारों से संचालित होता है।वहीं हेनरी ल्यूस ने कहा है कि “मैं जर्नलिस्ट बना ताकि दुनिया के दिल के अधिक करीब रहूं।”

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