रायसेन, दिनेश यादव। मध्यप्रदेश को यूं ही अजब-गजब नहीं कहा जाता यहां कुछ ना कुछ ऐसा होता रहता ही है। जिसके चलते एमपी अजब है सबसे गजब है कहा जाता है। रायसेन जिले के एक एएसआई का एक वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है। जिसमें वह 200 रुपये की रिश्वत लेते हुए दिखाई दे रहे हैं मामले ने जब तूल पकड़ा तो एसपी विकाश कुमार शाहवाल ने एएसआई को सस्पेंड कर दिया है।
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दरअसल बाड़ी थाने मैं पदस्थ एएसआई विश्वनाथ ठाकुर एक एक्सीडेंट की रिपोर्ट दर्ज करने के एवज में 200 रुपये की रिश्वत खर्चा पानी के रूप में मांग रहे थे। पैसे लेने के बाद एक सौ का नोट एएसआई ने अपने पास रखा दूसरा नोट कंप्यूटर पर बैठे एक अन्य व्यक्ति को दे दिया। जब कैमरा घूमा तो कुछ अन्य पुलिसकर्मी और वहां बैठे दिखाई दिए।
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इसको देखकर अंदाजा लगाया जा सकता है कि यहां रिश्वत लेने का खुलेआम रिवाज है। किसी को कोई डर नहीं। क्या यहां के पुलिसकर्मी रिश्वतखोरी में इतने बेखौफ हैं कि उन्हें अपने जमीर फर्ज और वरिष्ठ अधिकारियों का कोई डर नहीं है। वहीँ प्राप्त जानकारी के अनुसार बताया जा रहा है कि एक पत्रकार भोपाल से बाय कार बरेली जा रहे थे। इसी दौरान गाय को बचाने के चक्कर में उनकी कार हाईवे पर बने डिवाइडर से टकरा गयी।
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जिससे पत्रकार को चोट भी आई। घायल को उपचार के लिए अस्पताल भेजा गया। वहीं दूसरे दिन शनिवार को जब पत्रकार के सहयोगी बाड़ी पुलिस थाने एक्सीडेंट की रिपोर्ट दर्ज कराने पहुंचे तो उनसे वहां बैठे एएसआई विश्वनाथ ठाकुर ने खर्चा पानी की मांग की। जिसके बाद पीड़ित पत्रकार के सहयोगियों ने दो सो रुपये देकर रिपोर्ट दर्ज कराई और एएसआई के इस रिश्वतखोरी की घटना का वीडियो अपने कैमरे में कैद कर लिया।
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इस मामले के संज्ञान में आने के बाद एसपी शाहवाल ने एएसआई को सस्पेंड कर दिया है। वही सूत्रों की माने तो बाड़ी थाना प्रभारी पर भी कुछ कार्रवाई हो सकती है क्योंकि जिस थाने के पुलिसकर्मी 200 रुपये जैसी छोटी सी रिश्वत खुलेआम ले सकते हैं तो उस थाने के प्रभारी की कार्यप्रणाली पर भी सवाल खड़े होते हैं।