कंगना के समर्थन में उतरी करणी सेना, फूंका उद्धव ठाकरे और संजय रावत का पुतला

Gaurav Sharma
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राजगढ़, डेस्क रिपोर्ट। अभिनेत्री कंगना रनौत का कार्यालय तोड़े जाने के बाद अब महाराष्ट्र सरकार कंगना का घर तोड़ने की सोच रही है, इसी को लेकर राजगढ़ में राष्ट्रीय राजपूत करणी सेना ने ख़िलचीपुर के बस स्टैंड पर महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे और शिवसेना नेता संजय रावत का पुतला दहन किया। साथ ही संजय रावत के फोटो पर चप्पल और लात मारी। करनी सेना ने चेतावनी दी है कि हमारी बहन कंगना को महाराष्ट्र सरकार और परेशान करेगी तो हर प्रदेश से करनी सेना के सदस्य मुंबई में जाकर महाराष्ट्र सरकार के खिलाफ उग्र आंदोलन करेंगे। पुतला दहन के दौरान कार्यकर्ताओं ने महाराष्ट्र सरकार के विरुद्ध जमकर नारेबाजी की।

विरोध प्रदर्शन में संभाग संयोजक जितेंद्र सिंह खींची एवं संभाग महासचिव भूपेंद्र सिंह खींची एवं कोटा मीडिया प्रभारी पदम सिंह चौहान ,जिला महासचिव नरेंद्र सिंह खिची , जिला सचिव धर्मेंद्र सिंह खींची , तहसील अध्यक्ष तनवीर सिंह एवं राजगढ़ तहसील अध्यक्ष जितेंद्र सिंह , तहसील मीडिया प्रभारी अजय प्रताप सिंह खींची ,तहसील नगर अध्यक्ष महेंद्र सिंह एवं ब्लॉक अध्यक्ष राजेंद्र सिंह एवं सहित समस्त करणी सैनिक मौजूद थे ।


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पत्रकारिता पेशा नहीं ज़िम्मेदारी है और जब बात ज़िम्मेदारी की होती है तब ईमानदारी और जवाबदारी से दूरी बनाना असंभव हो जाता है। एक पत्रकार की जवाबदारी समाज के लिए उतनी ही आवश्यक होती है जितनी परिवार के लिए क्यूंकि समाज का हर वर्ग हर शख्स पत्रकार पर आंख बंद कर उस तरह ही भरोसा करता है जितना एक परिवार का सदस्य करता है। पत्रकारिता मनुष्य को समाज के हर परिवेश हर घटनाक्रम से अवगत कराती है, यह इतनी व्यापक है कि जीवन का कोई भी पक्ष इससे अछूता नहीं है। यह समाज की विकृतियों का पर्दाफाश कर उन्हे नष्ट करने में हर वर्ग की मदद करती है।इसलिए पं. कमलापति त्रिपाठी ने लिखा है कि," ज्ञान और विज्ञान, दर्शन और साहित्य, कला और कारीगरी, राजनीति और अर्थनीति, समाजशास्त्र और इतिहास, संघर्ष तथा क्रांति, उत्थान और पतन, निर्माण और विनाश, प्रगति और दुर्गति के छोटे-बड़े प्रवाहों को प्रतिबिंबित करने में पत्रकारिता के समान दूसरा कौन सफल हो सकता है।

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