उज्जैन।
मध्यप्रदेश के उज्जैन के प्रसिद्ध महाकाल मंदिर के प्रशासक को कमलनाथ सरकार में पर्यटन विकास मंत्री सुरेंद्रसिंह बघेल के जूते उतरवाना महंगा पड़ गया । यूडीए के सीईओ अभिषेक दुबे को प्रशासक के पद से हटा दिया गया है। उनकी जगह अब यह प्रभार स्मार्ट सिटी के सीईओ अवधेश शर्मा को सौंपा गया है। बताया जा रहा है कि इस घटना के बाद तराना के विधायक महेश परमार ने नाराजी जताई थी, जिसके बाद यह कार्रवाई की गई है, हालांकि कलेक्टर और महाकाल मंदिर प्रबंध समिति के अध्यक्ष शशांक मिश्रा ने काम की अधिकता के चलते दुबे को पदमुक्त करने की बात कही है।
दरअसल, बीते11 जनवरी को मंत्री सुरेंद्रसिंह बघेल शहर भ्रमण पर पहुंचे थे। यहां उन्होंने रामघाट व त्रिवेणी पर नदी की स्थिति का निरीक्षण किया और महाकाल मंदिर पूजन व दर्शन करने पहुंचे। इस दौरान उनके कर्मचारियों ने उनके जूते धर्मशाला के पास ही उतरवा दिए थे, जबकि वीआइपी कोटितीर्थ कुंड तक जूते सहित जाते हैं। इस बात को लेकर विधायक महेश परमार ने नाराजगी जताई थी और काफी विरोध दर्ज कराया था। लेकिन मंत्री को नंगे पैर ही आगे तक जाना पड़ा। इसकी शिकायत विधायक ने समिति से की, जिसके बाद यह कार्रवाई की गई ।इस दौरान उज्जैन विकास प्राधिकरण (यूडीए) सीईओ अभिषेक दुबे समिति का प्रशासक का पद संभाल रहे थे। अब उनकी जगह स्मार्ट सिटी के सीईओ अवधेश शर्मा को यह जिम्मेदारी सौंपी गई है। बताते चले कि यह दूसरा मौका है जब मंदिर प्रशासक का प्रभार दोबारा स्मार्ट सिटी के सीईओ को सौंपा है। यूडीए सीईओ दुबे से पहले भी शर्मा ही यही दायित्व संभाल रहे थे। सोमवार से शर्मा ने मंदिर का काम संभालना भी शुरू कर दिया।