भोपाल, डेस्क रिपोर्ट। मध्य प्रदेश ( MP Panchayat elections 2021-22) पंचायत चुनाव को लेकर दायर याचिकाओं पर आज बुधवार 14 दिसंबर 2021 सुबह 10.30 बजे होगी। इससे पहले सोमवार और फिर मंगलवार को सुनवाई होनी थी, जो टल गई। वही जिला पंचायत अध्यक्ष पद के लिए आरक्षण प्रक्रिया अब 18 दिसंबर को होगी। आरक्षण से पहले अब सबकी निगाहें सुप्रीम कोर्ट पर टिक गई है, उम्मीद की जा रही है आज कोर्ट अपना फैसला सुना देगा। इधर, राज्य निर्वाचन आयुक्त ने निर्देश दिए है कि जल्द से जल्द 3 वर्ष से अधिक समय से एक ही स्थान पर पदस्थ अधिकारियों के तबादले करने के निर्देश दिए है।
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दरअसल, मप्र हाईकोर्ट (MP High Court) के पंचायत चुनावों की प्रक्रिया पर रोक लगाने से इनकार के बाद मामला सुप्रीम कोर्ट पहुंचा है। एमपी के कांग्रेस नेता सैयद जाफर और जया ठाकुर के द्वारा दायर रिट पिटिशन पर मंगलवार को सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई टल गई और अब अगली सुनवाई आज 15 दिसंबर बुधवार को तय की गई है।सैयद जाफर ने ट्वीट कर लिखा है कि सैयद जाफर और जया ठाकुर के द्वारा मध्य प्रदेश पंचायत चुनाव में भाजपा सरकार द्वारा रोटेशन के आधार पर आरक्षण ना करने के खिलाफ दायर रिट पिटिशन में मंगलवार को सुप्रीम कोर्ट मे सुनवाई हुई सुप्रीम कोर्ट में अधिवक्ता वरुण ठाकुर ने पैरवी की।मध्य प्रदेश में 2 साल से पंचायत प्रतिनिधि बनने की उम्मीद लगा बैठे लाखों उम्मीदवारों की उम्मीद और उनके अधिकारों की रक्षा करे।
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इसके अलावा मध्य प्रदेश की 52 जिला पंचायत के अध्यक्ष पद के लिए आरक्षण अब 18 दिसंबर 2021 को होगा।मप्र पंचायत राज एवं ग्राम स्वराज अधिनियम 1993 की धारा 32 एवं मप्र पंचायत (उप सरपंच, अध्यक्ष एवं उपाध्यक्ष) निर्वाचन नियम 1995 के अनुसार जिला पंचायत के अध्यक्ष पदों के आरक्षण की कार्यवाही के लिए 14 दिसम्बर 2021 की तिथि नियत की गई थी, लेकिन सोमवार को पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग ने आरक्षण का कार्यक्रम स्थगित कर दिया है। इसके तहत अनुसूचित जाति, जनजाति, अन्य पिछड़ा वर्ग और सभी वर्गों में महिलाओं के लिए आरक्षण लॉटरी निकालकर होना था और आरक्षण की संपूर्ण कार्यवाही जल एवं भूमि प्रबंध संस्थान (वाल्मी) कलियासोत डेम के पास भोपाल में शुरु होनी थी, आरक्षण की कार्यवाही की सूचना जिला और पंचायत कार्यालयों में चस्पा करने के निर्देश कलेक्टरों को दिए गए थे। माना जा रहा है कि सुप्रीम कोर्ट में सरकार द्वारा 2019 के परिसीमन और आरक्षण को निरस्त किए जाने के विरुद्ध दायर याचिका पर होने वाली सुनवाई को देखते हुए यह निर्णय लिया गया है।
दूसरे दिन 192 ने भरा नामांकन
राज्य निर्वाचन आयोग के सचिव बी.एस. जामोद ने बताया है कि पंचायत निर्वाचन 2021-22 में प्रथम और द्वितीय चरण के लिये 14 दिसम्बर को 192 अभ्यर्थियों ने नाम निर्देशन-पत्र जमा किए। इनमें 101 महिला अभ्यर्थियों के नाम निर्देशन-पत्र हैं।जिला पंचायत सदस्य के लिये 7, जनपद पंचायत सदस्य के लिये 10, सरपंच पद के लिये 158 और पंच पद के लिये 17 अभ्यर्थियों ने नाम निर्देशन-पत्र जमा किया।प्रथम और द्वितीय चरण के लिये नाम निर्देशन-पत्र 20 दिसम्बर तक भरे जायेंगे। नाम निर्देशन-पत्रों की संवीक्षा 21 दिसम्बर को होगी। अभ्यर्थिता से नाम वापस लेने की अंतिम तारीख और निर्वाचन प्रतीकों का आवंटन 23 दिसम्बर को होगा। प्रथम चरण का मतदान 6 जनवरी और द्वितीय चरण का मतदान 28 जनवरी, 2022 को सुबह 7 बजे से अपरान्ह 3 बजे तक होगा।प्रथम चरण में 85 विकासखण्ड की 6,285 ग्राम पंचायतों और द्वितीय चरण में 110 विकासखण्ड की 8015 ग्राम पंचायतों के लिये नाम निर्देशन-पत्र लिये जा रहे हैं।
अधिकारियों के बीच कार्य विभाजन
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नरसिंहपुर कलेक्टर रोहित सिंह ने प्रशासकीय कार्य की सुविधा की दृष्टि से पूर्व में जारी आदेश को आंशिक रूप से संशोधित करते हुए जिले में पदस्थ अधिकारियों के बीच नवीन कार्य विभाजन किया है।इस सिलसिले में जारी नवीन आदेश के अनुसार अपर कलेक्टर श्री मनोज कुमार ठाकुर को उप जिला निर्वाचन अधिकारी स्थानीय निर्वाचन जिला नरसिंहपुर का कार्य सौंपा गया है। इसके साथ ही डिप्टी कलेक्टर राधेश्याम बघेल को त्रिस्तरीय पंचायत आम निर्वाचन 2021 का संचालन संबंधी समस्त कार्य सौंपा गया है। साथ ही वे उप जिला निर्वाचन अधिकारी की सहायता के लिए सहायक अधिकारी होंगे और समय- समय पर सौंपे गये अन्य कार्य सम्पादित करेंगे। श्री बघेल निर्वाचन संबंधी नस्तियां उप जिला निर्वाचन अधिकारी के माध्यम से प्रस्तुत करेंगे।
कलेक्टरों को निर्देश जारी
मध्यप्रदेश राज्य निर्वाचन आयोग द्वारा प्रदेश के समस्त जिलों के कलेक्टर्स एवं जिला निर्वाचन अधिकारियों को स्थानीय निकायों के आम निर्वाचन व उप निर्वाचन के लिये वीडियोग्राफी के संबंध में आवश्यक निर्देश जारी किये गये हैं। जारी निर्देशों के तहत कहा गया है कि मतदान दिवस के पूर्व तथा मतदान के दिन एवं मतगणना दिवस को प्रचार-प्रसार के दौरान आचार संहिता से संबंधित प्रावधानों के पालन की निगरानी के लिये, इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीनों से छेड़छाड़ की घटनाओं को रोकने या अन्य कानून व्यवस्था संबंधी अप्रिय घटना को रोकने के लिये अनिर्वार्य रुप से वीडियोग्राफी कराये जाने के लिये निर्देशित किया गया है। वीडियोग्राफी कराये जाने के लिये विस्तृत दिशा-निर्देश जारी किये गये हैं। जिसमें वीडियोग्राफर्स का चयन एवं उनकी तैनाती, वीडियो सर्विलेन्स टीम द्वारा रिकॉर्डिंग की विधि, अन्य गतिविधियों की वीडियोग्राफी, अति संवेदनशील मतदान केन्द्रों पर वीडियोग्राफी तथा वीडियोग्राफी के लिये विभिन्न गतिविधियों के दौरान कैमरों की संख्या एवं आंकलन को लेकर भी विस्तृत दिशा-निर्देश आयोग द्वारा जारी किये गये हैं।