नई दिल्ली, डेस्क रिपोर्ट। सरकारी कर्मचारियों को जुलाई में एक बड़ा तोहफा मिलने वाला है। खबर है कि 1 जुलाई से केन्द्र की मोदी सरकार नया श्रम कानून लागू (New Wage Code 2022) कर सकती है, सभी राज्यों से अप्रूवल मिलने के बाद श्रम एंव रोजगार मंत्रालय (Ministry of Labor and Employment) ने तैयारियां शुरू कर दी है। अगर यह लागू होता है तो कर्मचारियों की टेक होम सैलरी कम हो जाएगी, लेकिन पीएफ ग्रेच्युटी, छुट्टियां और ड्यूटी का समय बढ जाएगा। पर खासा असर पड़ेगा और ऑफिस का टाईम भी बढ़ जाएगा।
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, अप्रैल में लागू होने वाले लेबर कोड के नियमों (Labour Code Rules 2021) को अब मोदी सरकार (Modi Government) 1 जुलाई से लागू कर सकती है।केंद्र सरकार (Central Govt) अगले महीने से चारों नए लेबर कोडको लागू करने की तैयारी में है. ये लेबर कोड वेज (Wage), सोशल सिक्योरिटी (Social Security), इंडस्ट्रियल रिलेशंस (Industrial Relations) और ऑक्यूपेशनल सेफ्टी (Occupational Safety) से जुड़े हैं।इसके लिए सभी राज्य अपने ड्राफ्ट रूल्स दे चुके हैं।
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, नए वेज कोड के लागू होने के बाद कर्मचारियों की टेक होम सैलरी (New Wage Code Take Home Salary) घट सकती है, इससे बेसिक सैलरी, उनकी टोटल सैलरी (New Wage Code Total Salary) की कम से कम 50 फीसदी हो जाएगी, हालांकि PF कंट्रीब्यूशन बढ़ जाएगा और ग्रेच्युटी (New Wage Code Gratuity) में भी इजाफा होगा, जिसका फायदा रिटायरमेंट के बाद मिलेगा।इसमें जब बेसिक सैलरी 25000 महीना हो जाएगी, तब रिटायरमेंट पर EPF की रकम 1,16,62,366 रुपए हो जाएगी, यहां सालाना इंक्रीमेंट 5 फीसदी लिया गया है, जिससे EPF का फंड और बढ़ जाएगा।अगर मंथली सैलरी 50000 है और बेसिक पे 15000 है तब रिटायरमेंट पर PF की रकम 69,97,411 रुपए होगी।
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उदाहरण के तौर पर, अगर आपकी लास्ट सैलरी 50,000 रुपए है और आपने 5 साल किसी कंपनी में काम किया है तो आपकी ग्रेच्युटी 1.25 लाख रुपए बनेगी। लेबर कोड लागू होने के बाद ग्रेच्युटी की गणना ‘डीम्ड’ बेसिक सैलरी (Deemed Basic Salary) के आधार पर होगी, जो कि टोटल सैलरी के 50 फीसदी से कम नहीं होनी चाहिए यानी अगर आपकी टोटल सैलरी 2 लाख रुपए है और बेसिक सैलरी 50 हजार रुपए है, तो आपकी ग्रेच्युटी एक लाख रुपए (2 लाख के ग्रॉस पे का 50 फीसदी) के हिसाब से तय की जाएगी।
इसके अलावा कर्मचारियों की अर्जित अवकाश (Earned Leave) यानी छुट्टियां 300 से बढ़कर 450 हो जाएंगी। छुट्टियां बढने से ड्यूटी अवर्स भी बढ़ जाएंगे।इसके तहत सप्ताह में 7 दिन में से 4 दिन काम करना होगा और 3 दिन छुट्टियां मिलेंगी, लेकिन हर रोज 8 घंंटे की बजाय 12-12 घंटे काम करना होगा। दूसरे शब्दों में कहें तो सप्ताह में एक कर्मचारी को कम से कम 48 घंटे काम करने ही होंगे और इसी तरह अर्न्ड लीव को लेकर भी बड़े बदलाव होंगे। अगर कर्मचारी एक हफ्ते में 48 घंटे से ज्यादा काम करता है तो ओवर टाइम के पैसे मिलेंगे।