नई दिल्ली, डेस्क रिपोर्ट। सोमवार को संसद के मॉनसून सत्र (Parliament Monsoon Session) की शुरुआत हो चुकी है, लेकिन इसके पहले 17 सांसद कोरोना वायरस पॉज़िटिव (Loksabha MP Covid positive) पाए गए हैं। सभी सांसदों की 13 और 14 सितंबर को संसद भवन में कोरोना जांच की गई थी। कोरोना संक्रमित सांसदों में सबसे अधिक 12 सांसद बीजेपी से हैं, वाईआरएस कांग्रेस के दो तथा शिवसेना, DMK के और RLP के एक-एक सांसद शामिल हैं।
संक्रमित सांसदों में बीजेपी सांसद मीनाक्षी लेखी (Meenakshi Lekhi), अनंत कुमार हेगड़े (Anant Kumar Hegde) और प्रवेश साहिब सिंह वर्मा (Parvesh Verma) शामिल हैं। वहीं जनार्दन सिंह, सुखबीर सिंह, सेल्वम, प्रताप राव जाधव, हनुमान बेनीवाल, प्रताप राव पाटिल, रामशंकर कठेरिया, सत्यपाल सिंह समेत अन्य सांसद शामिल हैं। मॉनसून सत्र शुरू होने से पहले यह नियम बनाया गया था कि सभी सांसद और कर्मचारी कोविड टेस्ट कराएंगे और रिपोर्ट निगेटिव आने के बाद ही उन्हें परिसर में प्रवेश की अनुमति दी जाएगी। नियम यह भी है कि उनकी रिपोर्ट 72 घंटे से ज्यादा पुरानी नहीं होनी चाहिए। इसी के तहत सत्र शुरू होने से पहले सांसद सदस्यों और कर्मचारियों को मिलाकर करीब 4 हजार लोगों की कोरोना जांच की गई थी।
कोविड-19 के बीच शुरू हुआ मॉनसून सत्र एक अक्टूबर तक चलेगा। इस दौरान सख्ती से सारी गाइडलाइंस का पालन किया जा रहा है जिसमें फेस मास्क और सोशल डिस्टेंसिंग अनिवार्य है। वहीं सदन में हर सीट पर पॉली-कार्बन ग्लास लगाया गया है। कोरोना के कारण पहली बार लोकसभा के इतिहास में सांसदों को अपनी सीटों पर बैठकर बोलने की अनुमति दी गई। लोकसभा अध्यक्ष ओम बिड़ला ने कहा कि ‘इस मानसून सत्र में सभी सासंद पहले अपनी सीटों पर बिना खड़े हुए बोलेंगे। ऐसा कोविड -19 महामारी को देखते हुए किया जा रहा है।’ इससे पहले, सभी सांसद संसद में बोलने से पहले खड़े होते थे। यह आसन के प्रति सम्मान दर्शाने के लिए किया जाता है। बहरहाल, कोरोना काल में ऐसे कई नियम बदले गए हैं साथ ही कोरोना महामारी से बचने के लिए सभी ऐहतियाती कदम उठाए जा रहे हैं।