Promotion : हजारों कर्मचारियों के लिए राहत भरी खबर, मिलेगा प्रमोशन का लाभ, जारी हुए निर्देश, ये रहेंगे नियम

इस फैसले से करीब पांच हजार कर्मचारियों की पदोन्नति का रास्ता साफ हो गया है। हालांकि यह पदोन्नतियां सुप्रीम कोर्ट के अंतिम फैसले पर निर्भर करेंगी।

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Employees Promotion 2024 : हरियाणा के सरकारी कर्मचारियों के लिए अच्छी खबर है।आगामी विधानसभा चुनाव से पहले राज्य सरकार ने 2014 की पॉलिसी के तहत पक्के हुए कर्मचारियों को पदोन्नति देने का फैसला किया है।हालांकि, ऐसे कर्मचारियों की पदोन्नति सर्वोच्च न्यायालय में लंबित मौजूदा अपीलों के परिणाम के अधीन होगी।2014 में रेगुलराइजेशन पॉलिसी के तहत नियमित हुए करीब 5 हजार कर्मचारियों को पदोन्नति का लाभ मिलेगा।

SC के फैसले के बाद अब राज्य सरकार ने दिए ये आदेश

फरवरी में सर्वोच्च न्यायालय ने मदन सिंह एवं अन्य बनाम हरियाणा राज्य एवं अन्य मामले में विभिन्न जनहित याचिकाओं को जोड़कर अंतरिम आदेश दिए थे कि 2014 की पॉलिसी के तहत नियमित किए गए कर्मचारियों की पदोन्नतियां कर दी जाएं।अब सुप्रीम कोर्ट के आदेशों पर अमल लाते हुए राज्य सरकार ने कर्मचारियों की पदोन्नतियों पर लगी रोक हटा दी है। मुख्य सचिव के अधीनस्थ मानव संसाधन विभाग ने इस संबंध में सभी प्रशासनिक सचिवों, विभागाध्यक्ष, बोर्ड-निगमों के प्रबंध निदेशक और मुख्य प्रशासक, पंजाब एवं हरियाणा हाईकोर्ट के रजिस्ट्रार, मंडलायुक्तों और उपायुक्तों को निर्देश जारी कर दिए हैं।

ये है पूरा मामला

  • दरअसल, पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा की सरकार ने वर्ष 2014 में विधानसभा चुनाव से ठीक पहले कच्चे कर्मचारियों को पक्का करने का फैसला किया था और इसके लिए तीन अलग-अलग पॉलिसी बनाई थी। पहली पॉलिसी 18 जून 2014 को बनाई गई जिसमें 3 साल पूरे करने वाले करीब 5 हजार कर्मचारियों को पक्का किया गया।
  • इसके बाद जुलाई में फिर से नई नियमितीकरण पॉलिसी लाई गई जिसमें 31 दिसंबर 2018 तक 10 साल पूरे करने वाले कर्मचारियों को नियमित करने की व्यवस्था की गई। इसके बाद जून 2018 में हाई कोर्ट ने वर्ष 2014 की नियमितीकरण पॉलिसी पर रोक लगा दी और वर्ष 2016 में पक्के हुए पांच हजार कर्मचारियों के साथ ही अनुबंध पर काम कर रहे दूसरे सभी कर्मचारियों को हटाने के आदेश जारी कर दिए।
  • इसके बाद में मामला सुप्रीम कोर्ट चला गया, जिसने नवंबर 2018 को यथास्थिति बनाए रखने का आदेश जारी कर दिए। इसके बाद प्रदेश सरकार ने जून, 2020 को इन कर्मचारियों की पदोन्नति पर रोक लगा दी गई।

सुप्रीम कोर्ट ने दिया था ये आदेश

  • हरियाणा राज्य और अन्य बनाम योगेश त्यागी और अन्य मामले में सर्वोच्च न्यायालय के जून 2020 को जारी निर्देशों के अनुसरण में 2014 की रेगुलराइजेशन पॉलिसी के तहत नियमित कर्मचारियों के पदोन्नति लाभों को रोकने का निर्णय लिया था।
  • इसके बाद सर्वोच्च न्यायालय ने ‘मदन सिंह एवं अन्य बनाम हरियाणा राज्य एवं अन्य’ मामले में विभिन्न SLP को जोड़कर फरवरी 2024 के अंतरिम आदेशों के माध्यम से निर्देश दिए थे कि 2014 की रेगुलराइजेशन पॉलिसी के तहत नियमित कर्मचारियों की पदोन्नतियां मौजदा अपीलों के परिणाम के अधीन होंगी।
  • अब सुप्रीम कोर्ट के आदेशों को अमलीजामा पहनाते हुए राज्य सरकार ने फैसले से प्रभावित कर्मचारियों की पदोन्नतियों पर लगी रोक हटा दी है। मुख्य सचिव टीवीएसएन प्रसाद ने भी इस संबंध में सभी विभागाध्यक्षों को निर्देश जारी किए हैं।

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Pooja Khodani

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खबर वह होती है जिसे कोई दबाना चाहता है। बाकी सब विज्ञापन है। मकसद तय करना दम की बात है। मायने यह रखता है कि हम क्या छापते हैं और क्या नहीं छापते। "कलम भी हूँ और कलमकार भी हूँ। खबरों के छपने का आधार भी हूँ।। मैं इस व्यवस्था की भागीदार भी हूँ। इसे बदलने की एक तलबगार भी हूँ।। दिवानी ही नहीं हूँ, दिमागदार भी हूँ। झूठे पर प्रहार, सच्चे की यार भी हूं।।" (पत्रकारिता में 8 वर्षों से सक्रिय, इलेक्ट्रानिक से लेकर डिजिटल मीडिया तक का अनुभव, सीखने की लालसा के साथ राजनैतिक खबरों पर पैनी नजर)

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