Ind vs Eng: भारत आखिरी टेस्ट मैच जीतकर हासिल करेगा नई उपलब्धि, इस टीम से कर सकता है बराबरी

भारत अभी तक अंतर्राष्ट्रीय टेस्ट क्रिकेट की कुल 177 मैचों में जीत दर्ज की है। वहीं सबसे ज्यादा ऑस्ट्रेलिया ने 413 में मुकाबलों में जीत हासिल की है।

Shashank Baranwal
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Ind vs Eng 5th Test Match: भारत और इंग्लैंड के बीच टेस्ट सीरीज अपने आखिरी पड़ाव में है। जिसका आखिरी मुकाबला धर्मशाला में 7 मार्च से 11 मार्च के बीच खेला जाएगा। वहीं, भारत ने सीरीज में लगातार तीन मैचों की जीतकर सीरीज पर 3-1 की बढ़त बनाकर कब्जा कर लिया है। वहीं भारत के पास मैच जीतकर एक बड़ी उपलब्धि हासिल करने का मौका है। आइए जानते हैं विस्तार से…

इस टीम से करेगा बराबरी

इंग्लैंड के खिलाफ आखिरी टेस्ट मुकाबला जीत कर भारत साउथ अफ्रीका की बराबरी कर लेगा। बता दें भारत अभी तक अंतर्राष्ट्रीय टेस्ट क्रिकेट की कुल 177 मैचों में जीत दर्ज की है। जबकि साउथ अफ्रीका ने कुल 178 मैचों में जीत हासिल की है।

टेस्ट क्रिकेट में सर्वाधिक मैच जीतने वाली टीम

  • 413 जीत- ऑस्ट्रेलिया
  • 392 जीत- इंग्लैंड
  • 183 जीत- वेस्टइंडीज
  • 178 जीत- साउथ अफ्रीका
  • 177 जीत- भारत

आखिरी टेस्ट मैच के लिए भारतीय टीम का स्क्वॉड

रोहित शर्मा (कप्तान), जसप्रीत बुमराह (उपकप्तान), यशस्वी जयसवाल, शुभमन गिल, ध्रुव जुरेल (विकेटकीपर), रजत पाटीदार, सरफराज खान, केएस भरत (विकेटकीपर), देवदत्त पडिक्कल, आर. अश्विन, रवींद्र जडेजा, कुलदीप यादव, अक्षर पटेल, मुकेश कुमार, आकाश दीप और मोहम्मद सिराज खिलाड़ी शामिल हैं।

इंग्लैंड की ये रही प्लेइंग इलेवन

जैक क्रॉली, बेन डकेट, ओली पोप, जो रूट, जॉनी बेयरस्टो, बेन स्टोक्स (कप्तान), बेन फॉक्स, मार्क वुड, टॉम हार्टले, शोएब बशीर और जेम्स एंडरसन खिलाड़ी शामिल हैं।


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पत्रकारिता उन चुनिंदा पेशों में से है जो समाज को सार्थक रूप देने में सक्षम है। पत्रकार जितना ज्यादा अपने काम के प्रति ईमानदार होगा पत्रकारिता उतनी ही ज्यादा प्रखर और प्रभावकारी होगी। पत्रकारिता एक ऐसा क्षेत्र है जिसके जरिये हम मज़लूमों, शोषितों या वो लोग जो हाशिये पर है उनकी आवाज आसानी से उठा सकते हैं। पत्रकार समाज मे उतनी ही अहम भूमिका निभाता है जितना एक साहित्यकार, समाज विचारक। ये तीनों ही पुराने पूर्वाग्रह को तोड़ते हैं और अवचेतन समाज में चेतना जागृत करने का काम करते हैं। मशहूर शायर अकबर इलाहाबादी ने अपने इस शेर में बहुत सही तरीके से पत्रकारिता की भूमिका की बात कही है–खींचो न कमानों को न तलवार निकालो जब तोप मुक़ाबिल हो तो अख़बार निकालोमैं भी एक कलम का सिपाही हूँ और पत्रकारिता से जुड़ा हुआ हूँ। मुझे साहित्य में भी रुचि है । मैं एक समतामूलक समाज बनाने के लिये तत्पर हूँ।

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