भोपाल, डेस्क रिपोर्ट
सत्ता में आने के बाद से ही प्रदेश की शिवराज सरकार (shivraj sarkar) का फोकस युवाओं और रोजगार पर बना हुआ है।इसी कड़ी में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान (Chief Minister Shivraj Singh Chauhan)ने बड़ा फैसला लिया है , जिसके तहत मप्र में सरकारी नौकरियां अब प्रदेश के नौजवानों को ही दी जाएंगी। मप्र सरकार ने यह ऐतिहासिक फैसला लेते हुए इस संबंध में जल्द ही कानून बनाने का फैसला किया है।उपचुनाव से पहले सरकार के इस फैसले को बीजेपी का मास्टरस्ट्रोक माना जा रहा है।
दरअसल, मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने मध्यप्रदेश (Madhya Pradesh) के बच्चों के लिए बड़ा ऐलान किया है। अब मध्य प्रदेश में शासकीय नौकरी (Government Job) सिर्फ मध्य प्रदेश के बच्चों को ही दी जाएगी। उन्होंने कहा इसके लिए आवश्यक कानून बनाया जा रहा है। उन्होंने कहा मध्य प्रदेश के संसाधन मध्य प्रदेश के बच्चों के लिए होंगेआज वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग करते हुए मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि मध्य प्रदेश में शासकीय नौकरी अब सिर्फ मध्य प्रदेश के बच्चों के लिए होगी। इसके लिए आवश्यक कानून बनाया जा रहा है। उन्होंने कहा है कि मध्य प्रदेश के संसाधन मध्य प्रदेश के बच्चों के लिए ही होंगे।
शिवराज ने कहा कि मध्यप्रदेश के युवाओं का भविष्य ‘बेरोजगारी भत्ते’ की बैसाखी पर टिका रहे यह हमारा लक्ष्य ना कभी था और ना ही है। जो यहाँ का मूल निवासी है वही शासकीय नौकरियों में आकर प्रदेश का भविष्य संवारे यही मेरा सपना है। मेरे बच्चों, खूब पढ़ो और फिर सरकार में शामिल होकर प्रदेश का भविष्य गढ़ो।मेरे प्यारे भांजे-भांजियों! आज से मध्यप्रदेश के संसाधनों पर पहला अधिकार मध्यप्रदेश के बच्चों का होगा। सभी शासकीय नौकरियाँ सिर्फ मध्यप्रदेश के बच्चों के लिए ही आरक्षित रहेंगी। हमारा लक्ष्य प्रदेश की प्रतिभाओं को प्रदेश के उत्थान में सम्मिलित करना है।
नियम तय होना है बाकी अभी
वही शिवराज सरकार ने ये फैसला तो ले लिया है लेकिन ये साफ नही किया है कि दूसरे राज्यों से आए जो लोग मध्य प्रदेश में रह कर रहे हैं, उनके लिए क्या नियम होंगे। साथ ही नई व्यवस्था कब से लागू होगी। हालांकि सरकार ने ये साफ कर दिया है कि कानून में संसोधन किया जाएगा। अब तक एमपीपीएससी और अन्य नौकरियों के लिए देशभर से आवेदन आते थे, सभी को बराबर की भागीदारी थी, लेकिन नया नियम आने की स्थिति में केवल प्रदेश के निवासी ही सरकारी नौकरी के लिए आवेदन कर पाएंगे।
शिवराज पहले ही दे चुके थे संकेत
बता दे कि हाल ही में 15 अगस्त को मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान (Chief Minister Shivraj Singh Chauhan) ने भोपाल के लाल परेड ग्राउण्ड परिसर के मोतीलाल नेहरु स्टेडियम में आयोजित राज्यस्तरीय स्वतंत्रता दिवस समारोह में इस बात के संकेत भी दिए थे।मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा था कि मध्यप्रदेश के युवाओं को सरकारी नौकरियों में प्राथमिकता दी जायेगी। जब नौकरियों के अवसरों का अभाव है, ऐसे समय में राज्य के युवाओं की चिंता करना हमारा कर्तव्य है। प्रदेश में रोजगार के अधिक से अधिक अवसर सृजित किए जाएंगे। शासकीय भर्तियों के लिए अभियान तो चलाया ही जाएगा, साथ ही निजी क्षेत्रों में भी अधिक से अधिक रोजगार उपलब्ध कराए जाएंगे। विद्यार्थियों को उनकी 10वीं एवं 12वीं की अंकसूची के आधार पर ही नियोजित किया जाएगा।
सिंगल सिटीजन डाटाबेस तैयार कर रही सरकार
शिवराज यह भी कहा था कि प्रदेश सरकार युवाओं के कौशल विकास के लिये काम कर रही है. भोपाल में सिंगापुर की सहायता से लगभग 600 करोड़ रुपये की लागत से एक कौशल विकास केन्द्र बनाया जा रहा है। स्टार्टअप चालू करने के लिए अलग फंड बनाया जाएगा, इक्यूवेशन सेंटर्स की स्थापना की जाएगी। सरकार प्रदेश के नागरिकों के लिये ‘सिंगल सिटीजन डाटाबेस’ तैयार कर रही है, ताकि प्रदेश के लोगों को हर योजना के लिये अलग-अलग पंजीयन नहीं कराना पड़े।इतना ही नही सीएम ने यह भी कहा था कि मध्यप्रदेश में नागरिकों का ‘सिंगल सिटीजन डेटाबेस’ तैयार किया जायेगा। इसके बन जाने से नागरिकों को अलग-अलग योजनाओं अथवा कार्यों के लिए बार-बार जानकारी देने अथवा पृथक-पृथक पोर्टल पर पंजीयन कराने की आवश्यकता नहीं होगी। रेडीमेड गारमेंट क्षेत्र के उद्योगों में बड़ी संख्या में रोजगार का सृजन होता है। प्रदेश में रेडीमेड गारमेंट क्षेत्र में पूँजी निवेश को प्रोत्साहित करने के लिये उद्योग संवर्धन नीति में बदलाव किया गया है। अब यंत्र, संयंत्र एवं भवन में 25 करोड़ से अधिक पूँजी निवेश करने वाली गारमेंट निर्माण इकाइयों को भी मेगा स्तर की औद्योगिक इकाई माना जाएगा।
रोजगार को लेकर सरकार की तैयारी
शिवराज ने बताया कि प्रदेश सरकार द्वारा विभिन्न श्रम कानूनों में उल्लेखनीय बदलाव कर उद्योगों और स्थापनाओं को लगाने की प्रक्रिया को सरल किया गया है, ताकि रोजगार के नये अवसर पैदा हो सकें।युवाओं को कौशल प्रशिक्षण के लिये भोपाल में कौशल विकास परियोजना के अंतर्गत ग्लोबल स्किल्स पार्क और 10 संभागीय आईटीआई के उन्नयन एवं नव-निर्माण का कार्य प्रगति पर है।
मेरे प्यारे भांजे-भांजियों! आज से मध्यप्रदेश के संसाधनों पर पहला अधिकार मध्यप्रदेश के बच्चों का होगा। सभी शासकीय नौकरियाँ सिर्फ मध्यप्रदेश के बच्चों के लिए ही आरक्षित रहेंगी। हमारा लक्ष्य प्रदेश की प्रतिभाओं को प्रदेश के उत्थान में सम्मिलित करना है।#MPjobs4MPstudents pic.twitter.com/f0DEkpAvxh
— Shivraj Singh Chouhan (मोदी का परिवार ) (@ChouhanShivraj) August 18, 2020