Post Office Scheme: पोस्ट ऑफिस के जरिए भारत सरकार कई बचत योजनाएं चलाती है। जिसमें आम नागरिक थोड़ा-थोड़ा करके निवेश कर सकते हैं। डाकघर की योजनाएं ना केवल सुरक्षित निवेश का बेहतर विकल्प होते हैं, बल्कि शानदार मुनाफा भी देते हैं। ऐसी खास योजनाओं में से एक “सुकन्या समृद्धि योजना” है। यह खास कर सरकार बेटियों के लिए चलाती है। स्कीम की शुरुआत “बेटी पढ़ाओ बेटी योजना” के तहत गई थी। इसका मुख्य उद्देश्य आर्थिक रूप से कमजोर परिवारों में जन्म लेने वाली लड़कियों के भविष्य को सुरक्षित करना है, साथ ही उन्हें आर्थिक सहायता प्रदान करना है।
स्कीम के तहत टैक्स छूट की सुविधा मिलती है। मात्र ढाई सौ रुपये के निवेश से खाता खुलवाया जा सकता है। योजना बेटी के 21 साल पूरे होने पर मैच्योर होती है, लेकिन केवल 15 सालों तक निवेश करना पड़ता है। मैच्योरिटी के पहले पैसे निकालने की सुविधा दी जाती है, लेकिन ऐसा करने से नुकसान होता है। वहीं बेटियों के 18 साल पूरे होने पर उन्हें 50% रकम निकालने की अनुमति होती है। डेढ़ लाख तक सालाना निवेश पर इनकम टैक्स एक्ट के सेक्शन 8880 के तहत टैक्स छूट की सुविधा मिलती है। साथ ही मैच्योरिटी पर मिलने वाली रकम भी टैक्स फ्री होती है।
10 साल पूरे होने से पहले माता-पिता अपनी बेटियों के नाम पर सुकन्या समृद्धि योजना के तहत खाता खुलवा सकते हैं। वर्तमान में योजना पर 8 फीसदी सालाना ब्याज मिल रहा है। अधिकतम 1.5 लाख रुपये तक का निवेश सलाना किया जा सकता है। निवेशक हर महीने भी स्कीम में निवेश कर सकते हैं। यदि माता-पिता अपनी बेटी के नाम पर स्कीम के तहत निवेश करते हैं, तो मैच्योरिटी पर तीन गुना तक का रिटर्न मिलता है।
(Disclaimer: इस आलेख का उद्देश्य केवल जानकारी साझा करना है। MP Breaking News किसी भी स्कीम में निवेश की सलाह नहीं देता।)