RBI Penalty: भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने केवाईसी (नो योर कस्टमर) नियमों और अन्य भुगतान प्रावधानों का सही से पालन नहीं करने के कारण तीन प्रमुख वित्तीय कंपनियों पर भारी जुर्माना लगाया है। दरअसल यह कार्रवाई केंद्रीय बैंक के आदेश के तहत की गई है, जिसमें ओला फाइनेंशियल सर्विसेज, मणप्पुरम फाइनेंस, और वीजा प्राइवेट लिमिटेड शामिल हैं।
ओला फाइनेंशियल सर्विसेज पर जुर्माना
दरअसल आरबीआई ने ओला फाइनेंशियल सर्विसेज पर 87.50 लाख रुपये का जुर्माना लगाया है। वहीं इसमें से 33.40 लाख रुपये का जुर्माना केवाईसी प्रावधानों का पालन नहीं करने के लिए है, जबकि 54.15 लाख रुपये का जुर्माना पेमेंट एंड सेटलमेंट सिस्टम से जुड़े नियमों का पालन नहीं करने के लिए है। ओला फाइनेंशियल पर यह जुर्माना इसलिए लगाया गया है क्योंकि कंपनी ने अपने ग्राहकों की सही पहचान और सत्यापन प्रक्रिया को सही तरीके से लागू नहीं किया।
मणप्पुरम फाइनेंस पर जुर्माना
जानकारी के अनुसार मणप्पुरम फाइनेंस पर भी 41.50 लाख रुपये का जुर्माना आरबीआई द्वारा लगाया गया है। दरअसल आरबीआई के अनुसार, मणप्पुरम फाइनेंस केवाईसी प्रावधानों का सही से अनुपालन करने में असफल रही है। यह जुर्माना इसलिए लगाया गया है ताकि कंपनियां ग्राहकों की पहचान और उनके दस्तावेज़ों की जांच को गंभीरता से लें और वित्तीय प्रणाली में सुरक्षा और विश्वसनीयता बनाए रखें।
वीजा पर सबसे अधिक जुर्माना
दरअसल सबसे अधिक जुर्माना वीजा प्राइवेट लिमिटेड पर लगाया गया है। वीजा पर 2.4 करोड़ रुपये का जुर्माना लगाया गया है। वीजा पर आरोप है कि उसने आरबीआई से नियामकीय मंजूरी के बिना पेमेंट ऑथेंटिकेशन सॉल्यूशन को लागू किया। यह जुर्माना इस बात का संकेत है कि आरबीआई वित्तीय नियमों और प्रक्रियाओं का उल्लंघन करने वाली कंपनियों के खिलाफ सख्त कदम उठाने के लिए तैयार है।
आरबीआई की इस कार्रवाई से स्पष्ट है कि वित्तीय संस्थानों को केवाईसी और भुगतान प्रावधानों का कड़ाई से पालन करना होगा। यह कदम वित्तीय प्रणाली की सुरक्षा और विश्वसनीयता को बनाए रखने के लिए उठाया गया है।