IPO Listing New Rule: मार्केट रेगुलेटर SEBI ने आईपीओ की लिस्टिंग से जुड़े नियमों में बड़ा बदलाव किया है। सेबी ने इनिशियल पब्लिक ऑफरिंग की लिस्टिंग में लगने वाले समय को घटाकर आधा कर दिया है। 28 जून यानि आज भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड में यह फैसला लिया गया है। यह निर्णय सेबी ने स्टॉक एक्सचेंज, NPCI, स्पॉन्सर बैंक, डिपॉजिटरी, रजिस्ट्रार और अन्य हितधारकों के साथ चर्चा और व्यापक टेस्टिंग के बाद लिया है।
इस दिन से लागू होंगे नियम
सेबी के बयान के अनुसार आईपीओ क्लोज होने के तीन दिन बाद ही लिस्टिंग करना अनिवार्य होगा। समयसीमा को अब T+6 से घटाकर T+3 कर दिया गया है। 1 सितंबर या उसके बाद खुलने वाले सभी आईपीओ के लिए इस नियम का पालन करना स्वैच्छिक होगा। वहीं 1 दिसंबर के बाद खुलने वाले ऑफरिंग के लिए इस नियम का पालन करना अनिवार्य हो जाएगा।
इन्हें होगा फायदा
मार्केट रेगुलेटर के मुताबिक नए समयसीमा से जारीकर्ताओं, आवंटियों और सब्स्क्राइबर्स को लाभ होगा। कंपनियों तक उनकी धनराशि जल्दी पहुंचेगी। साथ ही जो सब्स्क्राइबर अपने शेयरों को अलॉट नहीं करेंगे, उन्हें उनका पैसा जल्दी मिलेगा। इससे व्यापार भी आसान होगा। इसके अलावा निवेशकों को अपने इनवेस्टमेंट के लिए जल्द क्रेडिट और लिक्विडिटी का मौका मिलेगा।
वर्तमान के नियम
बता दें कि वर्तमान में आईपीओ के क्लोज होने के 6 दिन बाद लिस्टिंग की जाती है। वहीं रजिस्ट्रार तीन दिनों में अलॉटमेंट करते हैं।