भोपाल, डेस्क रिपोर्ट। मध्यप्रदेश (madhya pradesh) में अपनी मांगों को लेकर राज्य पंचायत और ग्रामीण विकास विभाग (State Panchayat and Rural Development Department) के हजारों कर्मचारी हड़ताल पर है। जिसका खामियाजा आम जनता को भुगतना पड़ रहा है। मनरेगा (MNREGA) सहित कई वित्तीय कार्य कर्मचारियों की हड़ताल से प्रभावित हुए हैं। इसी बीच कमलनाथ (kamalnath) ने मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान (shivraj singh chauhan) से बड़ी मांग की है। कमलनाथ ने कहा कि कर्मचारियों की हड़ताल को खत्म करने के लिए जल्द से जल्द उनकी मांग को पूरा किया जाए।
ज्ञात हो कि राज्य पंचायत और ग्रामीण विकास विभाग के तहत 70,000 से अधिक पंचायत कार्यकर्ता 22 जुलाई से अपनी मांगों को लेकर हड़ताल पर चले गए हैं। इससे पहले वे 19-21 जुलाई तक सामूहिक अवकाश पर भी गए थे। मध्य प्रदेश पंचायत और ग्रामीण विकास विभाग के संयुक्त मोर्चा नामक एक महासंघ बनाने के लिए 18 से अधिक कर्मचारी संघों ने हाथ मिलाया है, वहीँ इस संघ ने सरकार के समक्ष 100 मांगें रखी हैं।
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वहीँ पंचायत संगठन के राज्य संयोजक दिनेश शर्मा ने कहा कि केंद्रीय नागरिक उड्डयन मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया (jyotiraditya scindia) से मिलने के लिए 1,000 से अधिक सदस्य 5 अगस्त को नई दिल्ली जायेंगे। शर्मा ने कहा कि हम उन्हें उस वादे की याद दिलाएंगे जो उन्होंने पहले किया था। उन्होंने सरकारी कर्मचारियों को आश्वासन दिया था कि अगर उनकी मांगें पूरी नहीं हुई तो वह सड़कों पर उतरेंगे। हम उनसे हस्तक्षेप करने और सहायता प्रदान करने का आग्रह करेंगे।
शर्मा ने कहा कि केंद्रीय मंत्री सिंधिया से मिलने वाले प्रतिनिधिमंडल में सभी क्षेत्रों और जिलों के प्रतिनिधि शामिल होंगे। उनकी मुख्य मांगों में पंचायत विभाग में सातवें वेतनमान को लागू करना और कर्मचारियों की कार्यभार ग्रहण तिथि के आधार पर छठे वेतनमान की गणना करना शामिल है न कि सरकार द्वारा तय की गई।
इसके अलाव प्रमुख मांगों में एक मांग ये भी है कि मनरेगा का कार्यान्वयन 5 जून, 2018 नीति लागू होने के बाद, नव नियुक्त कर्मचारियों के वेतन की गणना नवीनतम मूल वेतन से की जाएगी और यह सुनिश्चित किया जाएगा कि उन्हें उनके मूल वेतन का 90% प्राप्त हो।
मध्यप्रदेश के पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग के लगभग 70 हजार कर्मचारी अपनी जायज़ माँगो को लेकर हड़ताल पर हैं।
मैं मुख्यमंत्री शिवराज जी से मांग करता हॅूं कि इनकी लंबित मांगों को सरकार तत्काल पूरा कर हड़ताल समाप्त करवाने की पहल करे।
— Kamal Nath (@OfficeOfKNath) July 27, 2021