भोपाल। मध्य प्रदेश विधानसभा चुनाव में हार मिलने के बाद इस बात के कयास लगाए जा रहे थे कि अब शिवराज को केंद्रीय राजनीति में भेज दिया जाएगा। अब इस कयास को सच्चाई में बदलने की मांग उठने लगी है। बीजेपी के वरिष्ठ नेता संघप्रिय गौतम ने एक बयान दिया है जो बीजेपी के लिए बैचेनी पैदा कर सकता है। सियासी हल्कों में भी उनके बयान के बाद बड़े बदलाव देखने को मिल सकते हैं। उन्होंने शनिवार को एक बड़ा बयान दिया है जिससे राष्ट्रीय राजनीति में भूचाल आ गया है। उन्होंने पूर्व केंद्रीय मंत्री नितिन गड़करी को उप प्रधानमंत्री बनाए जाने की बात कही है। साथ ही यह भी सुझाव दिया है कि अब बीजेपी की कमान एमपी के पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान को सौंप देनी चाहिए।
फिलहाल बीजेपी की कमान पीएम नरेंद्र मोदी के खास अमित शाह के हाथ में है। वह पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष हैं। लेकिन गोतम ने सलाह दी है कि अब शाह को पूरी तरह से राज्यसभा पर फोकस करना चाहिए। उनकी इस मांग को कई मायनों में देखा जा सकता है। हाल ही के घटनाक्रम पर अगर नजर डालें तो इस बात के संकेत संघ की ओर से मिले हैं कि लोकसभा चुनाव में इस बार मोदी के मुकाबले गड़करी को खड़ा किया जा सकता है। उनके बयान लगातार पार्टी लाइन से हटकर आ रहे हैं। राजनीति के पंडितों का भी कहना है कि इस बार मोदी लहर जैसा कुछ खास नहीं है। गोतम ने भी अपने बयान में कहा है कि इस बार मोदी लहर पर संदेह है। उन्होंने कहा, “आगामी आम चुनाव में मोदी मंत्र के दोबारा काम करने की संभावना कम है। पार्टी कार्यकर्ता अकेले में इस बात को मानते हैं और चुपचाप सह रहे हैं।”
गौतम ने कहा कि केंद्र सरकार की नीतियों के खिलाफ गुस्सा फैल चुका है। उन्होंने कहा कि हालात इतने खराब हैं कि अगर अभी चुनाव हो जाएं तो भाजपा कुछ राज्यों को छोड़कर सबकी सत्ता से बाहर हो जाएगी। योजना आयोग का नाम बदलने तथा सीबीआई, रिजर्व बैंक की कार्यप्रणाली में हस्तक्षेप की बात करते हुए गौतम ने अपनी पार्टी के तरीकों की आलोचना की। उन्होंने कहा कि उत्तराखंड में एक चुनी हुई सरकार को गिराने की कोशिश करना ठीक नहीं था। इसके अलावा मणिपुर और गोवा में किसी भी तरह सरकार बनाना भी सही नहीं था।
इससे पहले, महाराष्ट्र में राज्य मंत्री का दर्जा प्राप्त किशोर तिवारी ने संघ प्रमुख मोहन भागवत को पत्र लिखकर कहा था कि गडकरी को प्रधानमंत्री बना दिया जाए। उन्होंने चेताया था कि “अगर पार्टी 2019 का आम चुनाव जीतना चाहती है तो उसे ऐसा करना चाहिए। गडकरी दशकों से भाजपा और संघ के निष्ठावान कार्यकर्ता हैं। वे पीएम जैसे उच्च पद के लिए सर्वर्था योग्य हैं।”