भोपाल, डेस्क रिपोर्ट। मध्यप्रदेश (MP) में पदोन्नति में आरक्षण (reservation in promotion) मामले की सुनवाई फिर से शुरू होने जा रही है। दरअसल इस मामले में सुनवाई 30 मार्च 2022 से शुरू होगी। माना जा रहा है कि अप्रैल में इसका फैसला आ सकता है। जिसका सीधा सीधा फायदा अधिकारी कर्मचारियों (MP Employees) को मिल सकता है।
जानकारी के मुताबिक 30 मार्च से सुप्रीम कोर्ट (Supreme court) में पदोन्नति में आरक्षण मामले में सुनवाई होनी है। जिसमें सभी वर्ग के कर्मचारी कोर्ट में दलील पेश करेंगे। इसके लिए पदोन्नति में आरक्षण मामले में नियामक तय किए गए हैं। जिस को आधार बनाकर केंद्र और राज्य सरकार द्वारा पदोन्नति पर निर्णय लिया जाएगा।
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मध्य प्रदेश में 2016 से कर्मचारियों की पदोन्नति में आरक्षण का मामला लंबित है। इसके लिए 2016 से मध्यप्रदेश में पदोन्नति में आरक्षण पर रोक लगी हुई है। वहीं अब तक करीब 80000 से अधिक अधिकारी कर्मचारी बिना पदोन्नति सेवानिवृत्त हो चुके हैं। एक बार फिर से 30 मार्च से सुप्रीम कोर्ट के पदोन्नति में आरक्षण का मामला उठाया गया है।
वही 30 मार्च से इसके लिए सुनवाई शुरू होगी। जिसमें मध्य प्रदेश के कर्मचारियों का डाटा कोर्ट में पेश किया जाएगा। जिसके बाद सुप्रीम कोर्ट इस मामले में फैसला ले सकता है। माना जा रहा है कि सुप्रीम कोर्ट में अनुसूचित जाति जनजाति के लिए एक पैरामीटर तय किए गए हैं। जिसके हिसाब से मध्यप्रदेश ने पूरी तैयारी कर ली है।