सर्दियों में बनाएं ये हर्बल सूप, स्वाद से साथ सेहत का भी खजाना

इस मौसम में अगर आप आयुर्वेद में बताई गई सामग्रियों के संयोजन से सूप बनाते हैं तो दुगना फायदा मिलेगा। आयुर्वेद में बताया गया है कि सूप के सेवन से शरीर का तापमान संतुलित होता है, पाचन क्रिया बेहतर होती है और पोषण मिलता है। आयुर्वेद के अनुसार, सर्दियों में शरीर में पित्त की अधिकता होती है और सूप से पाचन अग्नि को संतुलित किया जा सकता है। इस मौसम में वात और कफ बढ़ सकते हैं। सूप में उपयोग किए जाने वाले मसाले जैसे अदरक, लौंग, हल्दी आदि इन दोषों को संतुलित करने में मदद करते हैं।

Shruty Kushwaha
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Herbal soups for winter : सर्दियों का मौसम है और इस समय गरमागरम सूप पीने का आनंद ही कुछ और होता है। सूप स्वाद के साथ सेहत के लिए भी बहुत फायदेमंद है। सूप पीने से शरीर को तत्काल गर्मी मिलती है, खासकर जब इसे ताजे, गर्म और पौष्टिक सामग्री से तैयार किया जाता है। सर्दियों में कम पानी पीने की वजह से पाचन धीमा हो सकता है, ऐसे में हल्के और हर्बल सूप पाचन प्रक्रिया को सक्रिय करते हैं पाचन तंत्र को सक्रिय करते हैं।

यूं तो हम कई तरह के सूप बनाते हैं। लेकिन अगर इन्हें आयुर्वेद में बताई गई सामग्रियों और उनके संयोजन से बनाया जाए तो सेहत के लिए अधिक लाभकारी होंगे। सर्दियों में इन्फेक्शन और सर्दी-जुकाम का खतरा बढ़ जाता है। हर्बल सूप जैसे अदरक-तुलसी या लहसुन का सूप शरीर की इम्यूनिटी को बढ़ाने में मदद करते हैं। इन सूपों में मौजूद एंटीऑक्सीडेंट्स, एंटीबैक्टीरियल और एंटीवायरल गुण शरीर को संक्रमण से बचाते हैं।

सूप से सेहत बनाइए

सर्दियों में शरीर को गर्म रखने और इम्यूनिटी को बढ़ाने के लिए हर्बल सूप बेहद फायदेमंद होते हैं। आयुर्वेद में कई हर्बल संयोजनों का उपयोग शरीर को संतुलित करने, पाचन सुधारने और ऊर्जा बढ़ाने के लिए किया जाता है। आज हम कुछ हर्बल सूप की रेसिपी लेकर आए हैं, जो सर्दियों में विशेष रूप से लाभकारी होती हैं।

1. अदरक-तुलसी सूप

अदरक और तुलसी दोनों ही शरीर को गर्म रखते हैं और सर्दी-जुकाम से बचाने में मदद करते हैं। यह सूप शरीर की इम्यूनिटी को बढ़ाने के लिए बहुत फायदेमंद है।

विधि:
1 इंच ताजा अदरक, 1/2 कप तुलसी के पत्ते, और 1/2 चम्मच हल्दी को 2 कप पानी में उबालें।
उबालने के बाद छानकर इसमें स्वाद अनुसार नमक डालें।
इस सूप को दिन में 1-2 बार पीने से गले की सूजन और सर्दी-जुकाम में राहत मिलती है।

2. काली मिर्च और लहसुन का सूप

काली मिर्च और लहसुन दोनों ही एंटीबैक्टीरियल और एंटीवायरल गुणों से भरपूर होते हैं जो सर्दी और खांसी को कम करने में मदद करते हैं।

विधि:
2-3 लौंग लहसुन को बारीक काटकर 1 कप पानी में डालकर उबालें।
उसमें 1/4 चम्मच काली मिर्च पाउडर और 1 चम्मच अदरक का पेस्ट डालें।
5-7 मिनट तक उबालने के बाद छानकर शहद डालकर सेवन करें।

3. हल्दी और जीरा सूप

हल्दी और जीरा शरीर के अंदरूनी ताप को बढ़ाते हैं, पाचन सुधारते हैं, और सूजन को कम करने में मदद करते हैं।

विधि:
1/4 चम्मच हल्दी और 1/2 चम्मच जीरा 2 कप पानी में डालकर उबालें।
उबालने के बाद छानकर इसमें स्वाद अनुसार नमक और 1 चम्मच घी डालें।
यह सूप सर्दियों में पाचन को अच्छा बनाए रखता है।

4. पपीता और नीम का सूप

पपीते और नीम के पत्तों में एंटीऑक्सीडेंट्स होते हैं जो शरीर की सफाई और इम्यूनिटी को बढ़ाते हैं।

विधि:
1/2 कप पपीते के पत्ते और 5-6 नीम के पत्ते 2 कप पानी में उबालें।
उबालने के बाद सूप को छानकर उसमें 1 चम्मच शहद और स्वाद अनुसार नमक डालें।
यह सूप शरीर से विषाक्त पदार्थों को बाहर निकालने में मदद करता है।

5. मशरूम और धनिया सूप

मशरूम में उच्च मात्रा में प्रोटीन और खनिज होते हैं जो शरीर को शक्ति देते हैं। धनिया पत्तियों में पाचन सुधारने के गुण होते हैं और यह सर्दियों में ठंडक को संतुलित करता है।

विधि:
1/2 कप कटे हुए मशरूम और 1 चम्मच धनिया पत्तियों को 2 कप पानी में डालकर उबालें।
उबालने के बाद सूप को छानकर स्वाद अनुसार नमक और 1 चम्मच घी डालें।
यह सूप शरीर को गर्म रखने और पाचन को बढ़ाने में सहायक है।

6. शहद और नींबू का सूप

यह सूप गले की समस्या को दूर करने और शरीर की सफाई में सहायक होता है। शहद और नींबू का संयोजन सर्दियों में इम्यूनिटी को बढ़ाता है।

विधि:
2 कप पानी में 1 चम्मच शहद और 1 चम्मच ताजे नींबू का रस डालकर उबालें।
उबालने के बाद ठंडा करके सुबह खाली पेट पिएं।

7. चुकंदर और गाजर का सूप

चुकंदर और गाजर दोनों ही आयरन और विटामिन C से भरपूर होते हैं, जो इम्यूनिटी को बढ़ाते हैं और रक्त संचार में मदद करते हैं।

विधि:
1 चुकंदर और 1 गाजर को कद्दूकस करें और 2 कप पानी में उबालें।
उबालने के बाद सूप को छानकर स्वाद अनुसार नमक और काली मिर्च डालें।
इन हर्बल सूपों को सर्दियों में नियमित रूप से सेवन करने से शरीर को न केवल गर्मी मिलती है, बल्कि इम्यूनिटी भी मजबूत रहती है।


About Author
Shruty Kushwaha

Shruty Kushwaha

2001 में माखनलाल चतुर्वेदी राष्ट्रीय पत्रकारिता विश्वविद्यालय भोपाल से पत्रकारिता में स्नातकोत्तर (M.J, Masters of Journalism)। 2001 से 2013 तक ईटीवी हैदराबाद, सहारा न्यूज दिल्ली-भोपाल, लाइव इंडिया मुंबई में कार्य अनुभव। साहित्य पठन-पाठन में विशेष रूचि।

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