बालाघाट में 2 नक्सलियों को मार गिराने वाले 3 पुलिसकर्मियों को वीरता पदक से किया जाएगा सम्मानित, पढ़ें पूरी खबर

बालाघाट जिले में नक्सली विरोधी अभियान में अपने वीरता और साहस का परियचय देने वाले तीन जवानों को वीरता पुरुस्कार से सम्मानित किया जाएगा।

Shashank Baranwal
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Balaghat News: मध्य प्रदेश के बालाघाट में साहस एवं वीरता का परिचय देने वाले तीन पुलिसकर्मियों को वीरता पदक से सम्मानित किया जाएगा। जिसमें हॉकफोर्स निरीक्षक अंशुमान चौहान, एएसआई मनोज कापसे और एएसआई अतुल शुक्ला का नाम शामिल है। बता दें कि जिले में नक्सल विरोधी अभियान चलाया गया था। इस दौरान तीनों अफसरों द्वारा 2 हार्डकोर नक्सली को मार गिराया गया था।

सुरक्षाबलों की मुठभेड़ मारे गए थे नक्सली

दरअसल, 30 नवंबर 2022 को थाना गढ़ी अंतर्गत सूपखार के जंगली क्षेत्र में नक्सलियों के होने की सूचना मिली थी। जिसपर बालाघाट पुलिस एवं हॉकफोर्स स्पेशल ऑपरेशन ग्रुप की टीमों द्वारा घेराबंदी कर नक्सलियों को आत्मसमर्पण करने की चेतावदी दी गई थी। लेकिन उन्होंने पुलिस पर ताबड़तोड़ फायरिंग कर दी। इस नक्सली मुठभेड़ में जवानों द्वारा नक्सलियां पर जवाबी फायरिंग में राजेश उर्फ नंदा वंजाम और गणेश उर्फ उमेश मड़ावी को मार गिराया गया था। जिसके पास से एके-47 और पॉईंट 315 राफयल सहित अन्य सामग्री बरामद की गई थी।

इन राज्यों में दर्ज थे कई अपराधिक मामले

वहीं, इन पुलिसकर्मियों ने अपनी जान की परवाह ना करते हुए जंगल के भीतर नक्सलियों के ठिकाने पहुंचकर मुठभेड़ में मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र एवं छत्तीसगढ़ नेटवर्क के बड़े कैडर के नक्सलियों को मार गिराया। जिन पर तीनों ही राज्यों में 34 अपराध के साथ ही 49 लाख रुपए का इनाम घोषित था।

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बालाघाट से सुनील कोरे की रिपोर्ट


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पत्रकारिता उन चुनिंदा पेशों में से है जो समाज को सार्थक रूप देने में सक्षम है। पत्रकार जितना ज्यादा अपने काम के प्रति ईमानदार होगा पत्रकारिता उतनी ही ज्यादा प्रखर और प्रभावकारी होगी। पत्रकारिता एक ऐसा क्षेत्र है जिसके जरिये हम मज़लूमों, शोषितों या वो लोग जो हाशिये पर है उनकी आवाज आसानी से उठा सकते हैं। पत्रकार समाज मे उतनी ही अहम भूमिका निभाता है जितना एक साहित्यकार, समाज विचारक। ये तीनों ही पुराने पूर्वाग्रह को तोड़ते हैं और अवचेतन समाज में चेतना जागृत करने का काम करते हैं। मशहूर शायर अकबर इलाहाबादी ने अपने इस शेर में बहुत सही तरीके से पत्रकारिता की भूमिका की बात कही है– खींचो न कमानों को न तलवार निकालो जब तोप मुक़ाबिल हो तो अख़बार निकालो मैं भी एक कलम का सिपाही हूँ और पत्रकारिता से जुड़ा हुआ हूँ। मुझे साहित्य में भी रुचि है । मैं एक समतामूलक समाज बनाने के लिये तत्पर हूँ।

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