बालाघाट में पुलिस ने 16 नामजद और अन्य नक्सलियों के खिलाफ दर्ज किया मामला

Amit Sengar
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Balaghat News : एक वर्ष में पांचवे नक्सली मलाजखंड दलम में एसीएम और एमएमसी जोन स्पेशल कमेटी के सचिव दामा उर्फ मंगू के गार्ड, चैतु उर्फ हिडमा मरकाम को गत 14 दिसंबर को बालाघाट और मंडला पुलिस सहित हॉकफोर्स एवं सीआरपीएफ के सुरक्षाबलों ने आमने-सामने की मुठभेड़ में मार गिराया था। यह तीन राज्यों का ईनामी नक्सली था चैतु उर्फ हिडमा मडकाम, हाडकोर नक्सली था। जिसकी तीन राज्यों की पुलिस को तलाश थी। गत 13 एवं 14 दिसंबर की दरमियानी रात, जिले के गढ़ी थाना अंतर्गत खामको दादर के जंगली क्षेत्र में हुई मुठभेड़ में छत्तीसगढ़ के बीजापुर अंतर्गत भैरमगढ़ ब्लॉक के पम्मरा निवासी 25 वर्षीय चैतु उर्फ हिडमा मरकाम को मार गिराया गया था।

क्या है पूरा मामला

गौरतलब है कि 2012 में नक्सली दलम में शामिल होकर पहले दंडकारण्य जोन प्लाटून-02 में सक्रिय रहा नक्सली चैतु वर्ष 2020 में दंडकारण्य जोन से दबली कर एमएमसी जोन भेजा गया था। जो एमएमसी जोन में आने वाले मलाजखंड दलम में एसीएम के रूप में सक्रिय था। जिसके शव के पास से पुलिस ने पर्सनल वैपन पाईंट 315 बोर की रायफल बरामद की थी। इस मामले में वरिष्ठ अधिकारियों के निर्देश पर गढ़ी पुलिस ने मृतक चैतु उर्फ हिडमा मडकाम सहित लगभग 16 नामजद और अन्य नक्सलियों के खिलाफ मामला दर्ज किया है।

गढ़ी थाना में भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (माओवादी) संगठन द्वारा एक राय होकर अवैध शस्त्र एवं गोला बारूद के दम पर शासन के शासकीय कर्मचारी एवं ग्रामीणों पर अवैध शस्त्रों का भय दिखाकर और जान से मारने के प्रयास में नक्सली एमएमसी जोन के कान्हा-भोरमदेव डिवीजन एसजेडसीएम कबिर उर्फ सुरेन्द्र, डीव्हीसीएम राकेश ओडी, डीसीएम साजंती उर्फ क्रांति, ममता उर्फ रामाबाई, हिडमा उर्फ नवीन, समार उर्फ राजी, लालसु तथा मलाजखंड एवं टाडा-दर्रेकसा संयुक्त एरिया कमेटी एसजेडसीएम राजेश उर्फ मंगु उर्फ दामा, डीव्हीसीएम देवचंद्र उर्फ नरेश, डीव्हीसीएम विकास उर्फ अनिल नगपुरे, दीपक उर्फ सुधाकर, रामेश, रवि, मल्लेश, चैतु उर्फ हिडमा, ईमला, चंदू सहित अन्य सक्रिय माओवादियों के खिलाफ धारा 147, 148, 149, 307 भादंवि. 25, 27 आर्म्स एक्ट, 4,5 विस्फोटक पदार्थ अधि. 13(1)(क), 13(1)(ख), 16, 20 विधि विरूद्ध क्रियाकलाप अधिनियम के तहत अपराध दर्ज कर विवेचना में लिया है।

बालाघाट से सुनील कोरे की रिपोर्ट


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मुझे अपने आप पर गर्व है कि में एक पत्रकार हूँ। क्योंकि पत्रकार होना अपने आप में कलाकार, चिंतक, लेखक या जन-हित में काम करने वाले वकील जैसा होता है। पत्रकार कोई कारोबारी, व्यापारी या राजनेता नहीं होता है वह व्यापक जनता की भलाई के सरोकारों से संचालित होता है। वहीं हेनरी ल्यूस ने कहा है कि “मैं जर्नलिस्ट बना ताकि दुनिया के दिल के अधिक करीब रहूं।”

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