भोपाल/इंदौर।
आचार संहिता के बाद आयकर विभाग ने मध्यप्रदेश में एक बड़ी कार्रवाई को अंजाम दिया है। टीम ने राजधानी भोपाल के जाने-माने होटल सयाजी के संचाक को 12 लाख रुपए की नकदी के साथ पकड़ा है।धनानी ने भी आयकर के अधिकारियों के सामने स्वीकारा कि यह रकम उनकी ब्लैक मनी है। इसके बाद डिपार्टमेंट ने उक्त रकम को सीज कर लिया।अब नियमानुसार होटल के पिछले छह साल के आयकर रिटर्न की जांच की जाएगी। जब्त की गई 12 लाख रुपए की राशि में दो-दो हजार रुपए के नोट की गड्डी थी।टीम ने इसकी जानकारी मध्यप्रदेश चुनाव आयोग को दे दी है।
दरअसल, मंगलवार को होटल सयाजी के मालिक रऊफ धनानी मुंबई जाने के लिए रात्रि 10 बजे वाली एअर इंडिया की फ्लाइट पकड़ने भोपाल एयरपोर्ट पहुंचे थे।तभी आईटी ने उनके सामान की जांच की तो उनके पास से 12 लाख रुपए बरामद किए हैं।इंदौर इन्वेस्टिगेशन विंग के संयुक्त संचालक सतपाल मीणा के निर्देशन में यह कार्रवाई की गई थी। मीणा को जानकारी मिली थी कि लाखों रुपए का काला धन लेकर रउफ भोपाल से मुंबई जा रहे हैं। इस पर भोपाल एयरपोर्ट के सीईएसएफ और भोपाल इन्वेस्टिगेशन विंग को सूचित किया गया।जब इस मामले में आईटी ने पूछताछ की तो धनानी ने बताया कि यह पैसा अघोषित आय का है। टीम ने धनानी के पास से बरामद रुपए विभाग ने जब्त कर लिए हैं। आचार संहिता लगने के बाद आयकर की शहर में पहली बड़ी कार्रवाई है।हालांकि अभी तक स्पष्ट नही हो पाया है कि धनानी यह पैसा मुंबई क्यों ले जा रहा था।
अब विभाग इस पर टैक्स वसूली की कार्रवाई करेगा। इस आधार पर पकड़े गए पैसे पर कारोबारी को 78 प्रतिशत टैक्स चुकाना पड़ सकता है। विभाग के सूत्रों के मुताबिक धनानी बाहर से यह पैसा ला रहे थे। एयरपोर्ट पर जांच हुई तो उनके पास से नकदी पकड़ी गई। जानकारों के मुताबिक अघोषित आय कबूल करने से धनानी बड़ी कार्रवाई से फिलहाल बच गए हैं। नकदी का स्रोत नहीं बता पाने के बाद भी इसे अघोषित आय नहीं माना जाता तो विभाग आगे जांच करता। इसमें बीते छह साल के आयकर रिटर्न से लेकर अन्य तमाम दस्तावेज खंगाले जाते।
मंगलवार को सीबीआई ने की थी पहली बड़ी कार्रवाई
इससे पहले सीबीआई ने आचार संहिता लगने के बाद मध्यप्रदेश के निवाड़ी जिले में बड़ी कार्रवाई को अंजाम दिया था। टीम ने यहां से भारतीय खाद निगम निवाड़ी के डिपो मैनेजर विनोद कुमार सिंह को रिश्वत लेते हुए रंगेहाथों गिरफ्तार किया था आरोप है कि मैनेजर बीना की आरवी एग्रो कंपनी से सप्लाई आर्डर के नाम पर 50 हजार की रिश्वत मांग रहा था।यह कार्रवाई जबलपुर लोकायुक्त द्वारा की गई थी। आचार संहिता लगने के बाद प्रदेश में यह सीबीआई की पहली और बड़ी कार्रवाई मानी जा रही है।