भोपाल।
सत्ता में आने के बाद से ही कमलनाथ सरकार का फोकस किसानों पर विशेष तौर पर बना हुआ है। आने वाले नगरीय निकाय और पंचायत चुनाव में भी सरकार किसानों को आधार बनाकर जीत हासिल करने की तैयारियों में जुटी हुई है। खबर है कि कर्जमाफी , केस वापस लेने , फसलों में राहत जैसी सौगातों के बाद अब कमलनाथ सरकार किसानों को बड़ी राहत देने जा रही है। राज्य सरकार किसानों के सम्मान में दो पत्नियां मान्य करने जा रही है, जिसके तहत अब प्रदेश के उन किसानों को भी ‘प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना’ के लिए पात्र माना जाएगा, जिनकी दो पत्नी हैं।
दरअसल, प्रदेश में इस योजना के तहत दो पत्नी होने के कुछ मामले सामने आए थे, जिससे मैदानी स्तर पर राजस्व विभाग को दिक्कत हो रही थी। इसलिए राजस्व विभाग ने किसानों की जानकारी जुटाने के लिए बनाए गए सॉफ्टवेयर में यह विकल्प भी जोड़ दिया है, जिसमें किसी किसान की दो पत्नियां हैं तो उन्हें एक ही परिवार मानते हुए उनका एक कृषि खाता माना जाएगा।हालांकि योजना के तहत पति-पत्नी और उनके नाबालिग बच्चों को एक परिवार माना गया है। जबकि बालिग बच्चे को अलग परिवार माना गया है। बालिग बच्चों को अलग यूनिट मानते हुए योजना का लाभ अलग से दिया जाएगा। योजना के तहत प्रत्येक किसान को साल में तीन बार दो-दो हजार रुपए के मान से छह हजार रुपए सम्मान निधि दी जाएगी। केंद्र सरकार ने यह योजना लोकसभा चुनाव के ठीक पहले शुरू की थी।
राजस्व विभाग के अनुसार, प्रदेश में 80 लाख किसान परिवार हैं, जिसमें से 25 लाख का सत्यापन कर लिया गया है। ये डाटा अगले दो से तीन दिन में केंद्रीय कृषक पोर्टल पर अपलोड कर दिया जाएगा। जबकि शेष किसानों का सत्यापन 20 जुलाई तक कराने का लक्ष्य रखा गया है। योजना का लाभ देने के लिए किसानों का सत्यापन समग्र आईडी और राजस्व रिकॉर्ड का मिलान कर किया जा रहा है।
आने वाले चुनाव को देखते हुए यह फैसला अहम माना जा रहा है। सुत्रों की माने तो लोकसभा में करारी हार के बाद सरकार कोई रिस्क नही लेना चाहती है, इसलिए किसानों को फोकस कर रही है।चुंकी वादे के मुताबिक प्रदेश में पूर्ण कर्जमाफी ना होने से किसानों में सरकार के प्रति नाराजगी देखने को मिल रही है। हालांकि कर्जमाफी की प्रक्रिया प्रदेश में जारी है, लेकिन अब भी लाखों किसानो का इसका लाभ नही मिल पाया है।