भोपाल। मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री कमलनाथ के राजनीतिक सलाहकार आरके मिगालानी किसी भी तरह की सरकारी सुविधाएं नहीं ले रहे हैं। यही नहीं वह सिर्फ एक रुपए के वेतन पर इस पद पर काम कर रहे हैं। मुख्यमंत्री पद संभालने के बाद कमलनाथ ने मिगलानी को अपना राजनीतिक सलाहकार बनाया था। लेकिन फिर लोकसभा चुनाव के समय उन्होंने पद से इस्तीफा दे दिया था। लेकिन नतीजों के बाद उन्हें एक बार फिर इस पद पर नियुक्त किया गया है।
मुख्यमंत्री के सलाहकार को तौर पर काम कर रहे मिगलानी सरकारी सुख सुविधाओं से दूरी बनाए हुए हैं। उन्होंने किसी भी तरह की कोई सरकारी सुविधा नहीं ली है। उनसे पहले उमा भारती के मुख्यमंत्री रहते हुए अनिल दवे, अतुल जैन और शेलेंद्र शर्मा को कैबिनेट मंत्री का दर्जा दिया गया था। यह तीनों ही उमा के राजनीतिक सलाहकार के पद पर नियुक्त किए गए थे और उन्हें सभी तरह की सुविधाएं भी मुहैया करवाई गईं थी।
कमलनाथ के खास हैं मिगलानी
मुख्यमंत्री कमलनाथ के साथ आरके मिगलानी 40 साल से काम कर रहे हैं। वह मीडिया से दूरी बनाए रखते हैं। उन्हें ज्यादा लाइमलाइट में रहना पसंद नहीं है। वह इससे पहले आईटीसी कंपनी में थे। जहां से इस्तीफा देने के बाद उन्होंने कमलनाथ को ज्वाइन किया। जब कमलनाथ कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष बनाए गए थे तब भी मिगलानी उनके साथ थे। चुनाव में अहम किरादार अदा करने के बाद अब मिगलानी कमलनाथ के मंत्रियों के कामकाज पर निगाह बनाए रखते हैं। उनके अलावा प्रवीण कक्कर और संजय श्रीवास्तव को मुख्यमंत्री कमलनाथ ने ओएसडी बनाया है। लेकिन इन सबसे मिगलानी सीएम के ज्यादा करीबी माने जाते हैं।