मूंग खरीदी को लेकर शिवराज सरकार का बड़ा फैसला, कलेक्टर्स को दिए ये निर्देश

Atul Saxena
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भोपाल, डेस्क रिपोर्ट। शिवराज सरकार (Shivraj Government) ने मूंग उपार्जन (Moong) एवं भण्डारण के लिये गोदाम का चयन पूरी पारदर्शिता से करने के लिये मापदण्ड निर्धारित किये गये हैं। मूंग भण्डारण के संबंध में मिलने वाली शिकायतों को देखते हुए मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान (CM Shivraj Singh Chauhan) की मंशा के अनुरूप वेयर-हाउस के चयन के संबंध में प्रमुख सचिव खाद्य फैज अहमद किदवई ने सभी कलेक्टर को पत्र लिखा है।

पत्र में कहा गया है कि प्राथमिकता के क्रम में सर्वप्रथम मूंग का उपार्जन और भण्डारण शासकीय गोदाम में किया जाएगा। शासकीय गोदामों में उपलब्ध भण्डारण क्षमता की जानकारी आपूर्ति अधिकारी कलेक्टर को उपलब्ध करायेंगे एवं जानकारी की सत्यता का प्रमाण-पत्र भी प्रस्तुत करेंगे।

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शासकीय गोदामों में अनुमानित उपार्जन के लिये पर्याप्त भण्डारण क्षमता न होने की स्थिति में शेष भण्डारण एवं उपार्जन नागरिक आपूर्ति निगम के ऐसे अनुबंधित निजी गोदामों में किया जा सकेगा, जिनके परिसर में वे-ब्रिज की सुविधा उपलब्ध हो।

ऐसे गोदाम, जिनके 4 किलोमीटर की परिधि के भीतर वे-ब्रिज की सुविधा उपलब्ध हो और इसके बाद ऐसे निजी गोदाम, जो मुख्य राष्ट्रीय/राज्य/जिला मार्ग पर स्थित हों, को भण्डारण के लिए उपयोग में लिया जा सकेगा। पर्याप्त भण्डारण क्षमता उपलब्ध न होने की स्थिति में अन्य निजी गोदाम भण्डारण के लिये उपयोग में लिये जा सकेंगे।

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भण्डारण के लिये 2 या अधिक निजी अनुबंधित गोदाम प्राथमिकता क्रम में एक समान स्थिति में हों, तो उस गोदाम को वरीयता दी जायेगी, जो पीएमएस (Preservation, Maintenance & Security) का कार्य नागरिक आपूर्ति निगम से अनुबंधित एजेंसी को सौंपने के लिये लिखित रूप से सहमति देगा। गोदाम समान स्थिति में होने की दशा में पहले लायसेंस प्राप्त गोदाम को प्राथमिकता दी जायेगी।

भण्डारण के लिये निर्धारित मापदण्डों के अनुसार कलेक्टर चयनित गोदामों की प्राथमिकता क्रम में सूची तैयार कर उल्लेख करेंगे कि चयन किस प्राथमिकता क्रम के आधार पर किया गया है। उक्त सूची वेबसाइट एवं संबंधित कार्यालय के नोटिस-बोर्ड पर प्रदर्शित की जायेगी। कोई व्यक्ति इस संबंध में जानकारी माँगता है अथवा कोई आपत्ति दर्ज कराता है, तो उसे एक सप्ताह के भीतर निराकरण किया जायेगा।

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गौरतलब है कि ग्रीष्मकालीन मूंग की न्यूनतम समर्थन मूल्य पर खरीदी के लिये पंजीयन पूरा हो चुका है। अब 8 अगस्त से खरीदी की प्रक्रिया शुरू होगी। मूंग की खरीदी न्यूनतम समर्थन मूल्य 7 हजार 275 रूपए प्रति क्विंटल की दर पर जाएगी। इसके लिए 741 खरीदी केंद्र बनाये हैं।

आपको बता दें कि ग्रीष्मकालीन मूंग की खरीदी बालाघाट, नर्मदापुरम, नरसिंहपुर, रायसेन, हरदा, सीहोर, जबलपुर, देवास, सागर, गुना, खण्डवा, खरगोन, कटनी, दमोह, विदिशा, बड़वानी, मुरैना, बैतूल, श्योपुरकला, भिण्ड, भोपाल, सिवनी, छिंदवाड़ा, बुरहानपुर, छतरपुर, उमरिया, धार, राजगढ़, मण्डला, शिवपुरी और अशोकनगर जिलों में  होगी।


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पत्रकारिता मेरे लिए एक मिशन है, हालाँकि आज की पत्रकारिता ना ब्रह्माण्ड के पहले पत्रकार देवर्षि नारद वाली है और ना ही गणेश शंकर विद्यार्थी वाली, फिर भी मेरा ऐसा मानना है कि यदि खबर को सिर्फ खबर ही रहने दिया जाये तो ये ही सही अर्थों में पत्रकारिता है और मैं इसी मिशन पर पिछले तीन दशकों से ज्यादा समय से लगा हुआ हूँ....पत्रकारिता के इस भौतिकवादी युग में मेरे जीवन में कई उतार चढ़ाव आये, बहुत सी चुनौतियों का सामना करना पड़ा लेकिन इसके बाद भी ना मैं डरा और ना ही अपने रास्ते से हटा ....पत्रकारिता मेरे जीवन का वो हिस्सा है जिसमें सच्ची और सही ख़बरें मेरी पहचान हैं ....

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