पब्लिक के हत्थे चढ़ा शिकारी, वन अमले को सौंपा, अमला जांच में जुटा

Gaurav Sharma
Published on -

दमोह, गणेश अग्रवाल। एक तरफ जहां वन्य प्राणियों के सरंक्षण को लेकर सरकार कोशिशें कर रही है, वही शिकारियों के हौसले बुलंद होते जा रहे है। हालांकि अब शिकार को लेकर आम नागरिक सतर्क होते जा रहे हैं। ताज़ा मामला दमोह जिले के तेंदूखेड़ा से सामने आया है जहां रविवार को शाम लोगों ने सुरेश नाथ नामक एक शिकारी को जंगली पशुओं के साथ पकड़ा और उसे वन विभाग को सौंपा है।

 

मामले के मुताबिक एक व्यक्ति सेंचुरी एरिया से शिकार करके जानवरों को बैग में भरकर जा रहा था । तेंदूखेड़ा कस्बे में लोगों को शक हुआ और उन्होंने बैग खुलवाया तो उसमें जंगली जानवर थे। लोगों ने शिकारी को पकड़ कर वन अधिकारियों को सूचना दी, जिस पर इलाके की एसडीओ टीम के साथ मौके पर पहुंची और आरोपी को शिकार के साथ अपनी गिरफ्त में लिया। रविवार की देर रात तक कार्रवाई होती रही और वन अमला जांच में जुटा है। आरोपी को आज कोर्ट में पेश किया जाएगा।


About Author
Gaurav Sharma

Gaurav Sharma

पत्रकारिता पेशा नहीं ज़िम्मेदारी है और जब बात ज़िम्मेदारी की होती है तब ईमानदारी और जवाबदारी से दूरी बनाना असंभव हो जाता है। एक पत्रकार की जवाबदारी समाज के लिए उतनी ही आवश्यक होती है जितनी परिवार के लिए क्यूंकि समाज का हर वर्ग हर शख्स पत्रकार पर आंख बंद कर उस तरह ही भरोसा करता है जितना एक परिवार का सदस्य करता है। पत्रकारिता मनुष्य को समाज के हर परिवेश हर घटनाक्रम से अवगत कराती है, यह इतनी व्यापक है कि जीवन का कोई भी पक्ष इससे अछूता नहीं है। यह समाज की विकृतियों का पर्दाफाश कर उन्हे नष्ट करने में हर वर्ग की मदद करती है।इसलिए पं. कमलापति त्रिपाठी ने लिखा है कि," ज्ञान और विज्ञान, दर्शन और साहित्य, कला और कारीगरी, राजनीति और अर्थनीति, समाजशास्त्र और इतिहास, संघर्ष तथा क्रांति, उत्थान और पतन, निर्माण और विनाश, प्रगति और दुर्गति के छोटे-बड़े प्रवाहों को प्रतिबिंबित करने में पत्रकारिता के समान दूसरा कौन सफल हो सकता है।

Other Latest News