ग्वालियर। अमृत योजना के नोडल अधिकारी और उप नेता प्रतिपक्ष के बीच सोमवार को परिषद भवन के बाहर हुआ मुंहवाद पुलिस तक पहुँच गया है। कांग्रेस ने पुलिस अधीक्षक को आवेदन देकर निगम अधिकारी के खिलाफ मुकदमा दर्ज करने की मांग की है।
दरअसल सोमवार को नगर निगम परिषद की बैठक में अमृत योजना के कार्यों पर बहस चल रही थी विपक्ष के पार्षद अधिकारियों पर भ्रष्टाचार के आरोप लगाते हुए भेदभाव के भी आरोप लगा रहे थे। इसी बीच उप नेता प्रतिपक्ष चतुर्भुज धनोलिया ने अमृत योजना के नोडल अधिकारी रामू शुक्ला का नाम लेकर कहा कि ये मेरे वार्ड में काम नहीं करवा रहे। परिषद की बैठक खत्म होने के बाद जब परिषद भवन के बाहर रामू शुक्ला और चतुर्भुज धनोलिया एक दूसरे के सामने आये तो रामू शुक्ला ने चतुर्भुज से कहा कि आपने मेरा नाम लेकर कैसे कहा कि मैं अमृत योजना के काम आपके वार्ड में नहीं करा रहा। ऐसा ही है तो आपने “अपने मौर्य” से काम क्यों नहीं करवा लिए। आप झूठे आरोप क्यों लगा रहे हैं , मैं आपको देख लूंगा। चतुर्भुज इतना सुनते ही भड़क गए उन्होंने कहा कि शुक्ला जी आप मामले को जातिगत रूप ना दें मौर्य मेरे क्यों हैं उन्हें “अपना” कहने के पीछे आपका मकसद क्या है? गौरतलब है कि नगर निगम पीएचई के अधिकारी आरएलएस मौर्य पहले अमृत योजना के नोडल अधिकारी रह चुके हैं।मामला बढ़ता देख नेता प्रतिपक्ष कृष्ण राव दीक्षित सहित सत्ता पक्ष और विपक्ष के सभी आरक्षित वर्ग के पार्षद चतुर्भुज के समर्थन में आ गए। उसके बाद चतुर्भुज धनोलिया के पार्टी जिला अध्यक्ष डॉ देवेंद्र शर्मा को मामले की जानकारी दी जिसके बाद आज कांग्रेस के प्रतिनिधिमंडल में पुलिस अधीक्षक नवनीत भसीन को आवेदन देकर धमकी देने और जातिसूचक शब्दों का इस्तेमाल करने वाले निगम अधिकारी रामू शुक्ला के खिलाफ मुकदमा कायम करने की मांग की है।