Khandwa : “नहर नहीं तो वोट नहीं” किसानों ने ट्रैक्टर रैली निकालकर जताया आक्रोश

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खंडवा, सुशील विधाणी। खंडवा (Khandwa) में किसान संघर्ष समिति (Kisan Sangharsh Samiti) ने झिरन्या उद्वहन सिंचाई परियोजना की प्रशासकीय स्वीकृति नहीं मिलने तक आंदोलन की चेतावनी दी है। इसके अंतर्गत परियोजना के प्रस्तावित गांव में राजनीतिक दलों के नेताओं का प्रवेश प्रतिबंधित के साथ आक्रोशित किसानों ने खंडवा लोकसभा उपचुनाव (Khandwa Lok Sabha by-election) का बहिष्कार करने का निर्णय भी लिया है। साथ ही क्षेत्र के किसानों ने नारा भी दिया है ‘नहर नहीं तो वोट नहीं’ और इसी नारे की गूंज के साथ विरोध प्रदर्शन कर ट्रैक्टर रैली निकाली गई।

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दुलार फाटा से लेकर लगभग सैकड़ों किसान इस रैली में सम्मिलित हुए। जिसके चलते सुरक्षा के दृष्टिकोण से भारी पुलिस बल भी तैनात किया गया है। किसानों ने ट्रैक्टरों पर बैठकर शक्ति प्रदर्शन किया। स्टेडियम ग्राउंड पर समस्त किसान पहुंचे जहां जमकर नारेबाजी हुई। वहीं किसानों ने कलेक्टर को ज्ञापन देने के लिए कलेक्टर कार्यालय पहुंचे। जहां चारों ओर से बैरिकेट्स लगाए गए थे। और उन सभी को तोड़ते हुए कलेक्टर कार्यालय परिसर में हजारों की संख्या में किसान बाहर बैठ गए और कहा कि मुख्यमंत्री द्वारा हमारी मांगे माने नहीं तो आने वाले दिनों में उग्र आंदोलन होगा। सभा को पंकज सिंह पुरनी ने भी संबोधित किया।

Khandwa : "नहर नहीं तो वोट नहीं" किसानों ने ट्रैक्टर रैली निकालकर जताया आक्रोश

आपको बतादें कि नर्मदा घाटी विकास विभाग ने दो साल पहले परियोजना की डीपीआर तैयार कर ली गई है। लेकिन प्रशासकीय स्वीकृति और बजट के अभाव में योजना मूर्त रूप नहीं ले पा रही है। इस परियोजना से क्षेत्र के 49 गांवों सहित पंधाना विधानसभा के 25 और खंडवा के चार गांव लाभान्वित होंगे। 35 हजार 200 हेक्टेयर कृषि भूमि सिंचित होगी। इस परियोजना की अनुमानित लागत 1048.37 करोड़ रुपये हैं। लिफ्टिंग पाइंट दौड़वा के पास मुख्य नहर से पाइप लाइन की लंबाई 48.85 किलोमीटर है।

किसानों ने कहा कि सरकार पक्षपात कर रही है। इसके पहले खंडवा लोकसभा क्षेत्र की बिंजलवाड़ा और छेगांवमाखन की दो उद्वहन सिंचाई परियोजनाओं की स्वीकृति दी गई है और उनका कार्य भी शुरू हो चुका है। बिंजलवाड़ा परियोजना में झिरन्या के 135 में से 25 गांव सम्मिलित है, जबकि छेगांवमाखन में भी इससे लगे पंधाना व खंडवा के कई गांवों को शामिल नहीं किया गया है। परियोजना से प्रस्तावित सभी गांव में नारों की पट्टीकाएं लगाने के साथ ही रैली और विरोध प्रदर्शन किया जा रहा है । आज समस्त किसानों ने पंजाब किसानों की तर्ज पर दुलार फाटे से लेकर खंडवा कलेक्टर कार्यालय तक ट्रैक्टर मार्च निकाला किसानों की एक ही मांग है कि हमें हमारे क्षेत्र में नहर की स्वीकृति दिलाई जाए।

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Harpreet Kaur

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