नई दिल्ली| सुप्रीम कोर्ट ने एससी/एसटी एक्ट (SC/ST Act)में बदलाव पर रोक की मांग से इनकार किया है| अब इस मामले में सुनवाई 19 फरवरी को होगी| सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि मार्च 2018 के फैसले के बाद कानून में संशोधन किया गया है| इसे लेकर केंद्र ने पुर्नविचार याचिका दाखिल की है. नए कानून को लेकर भी जनहित याचिकाएं दाखिल हैं. ऐसे में पीठ सारे मामलों की एक साथ सुनवाई करेगी. इस मामले में विस्तृत सुनवाई की जरूरत है|
बता दें कि एससी/एसटी एक्ट में 2018 में संशोधन किया गया था. इसी पर केंद्र ने पुर्नविचार याचिका सुप्रीम कोर्ट में दाखिल की थी| सुप्रीम कोर्ट ने आज स्पष्ट कह दिया है कि SC/ST अत्याचार निवारण (संशोधन ) कानून 2018 पर फिलहाल रोक नहीं है| यानी मामले में अग्रिम जमानत ना होने का प्रावधान फिलहाल बरकरार रहेगा और गिरफ्तारी से पहले इजाजत लेने की भी जरूरत नहीं होगी| 2018 में सुप्रीम कोर्ट ने तुरंत गिरफ्तारी पर रोक लगाई थी. उसके बाद कानून में संशोधन सर सरकार ने वो प्रावधान फिर जोड़ा. अब फैसले के खिलाफ सरकार की रिव्यू पिटीशन और कानून में बदलाव को चुनौती पर एक साथ सुनवाई होगी|
प्रधान न्यायाधीश रंजन गोगोई की अध्यक्षता वाली पीठ ने कहा कि वह विचार करेगी और जो भी जरूरी होगा, किया जाएगा. इससे पहले, अटॉर्नी जनरल के के वेणुगोपाल ने पीठ से कहा कि न्यायमूर्ति ए के सीकरी की अध्यक्षता वाली पीठ ने गुरुवार को यह कहते हुए एक आदेश पारित किया कि SC/ ST कानून 2018 के खिलाफ दायर याचिकाओं एवं केंद्र की समीक्षा याचिका पर एक साथ सुनवाई करना उचित होगा|