पितृ पक्ष के अंतिम दिन करें ये 6 उपाय, प्रसन्न होंगे पूर्वज, देंगे सुख-समृद्धि का आशीर्वाद

हिंदू धर्म में पितृपक्ष का काफी महत्व माना गया है। यह 15 दिन पितृ की आत्मा की शांति और तृप्ति के लिए विशेष माने जाते हैं। चलिए आज हम आपको पितृपक्ष के अंतिम दिन किए जाने वाले कुछ खास उपाय बताते हैं।

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Astro Tips: हिंदू धर्म में ज्योतिष को काफी ज्यादा महत्व दिया गया है। हम जितने भी काम करते हैं वह सब कुछ ज्योतिष के आधार पर होते हैं। किसी नए काम की शुरुआत करनी हो शादी, विवाह, जनेऊ, मुंडन और हिंदू धर्म में होने वाली हर विधि ज्योतिष पर आधारित होती है। हर काम को ज्योतिष के मुहूर्त नियमों के मुताबिक किया जाता है।

व्यक्ति अगर जीवन में किसी तरह की परेशानी का सामना कर रहा होता है तब भी वह ज्योतिष का सहारा लेता है। ज्योतिष में ऐसा कहीं नियम कार्य और उपाय बताए गए हैं। जिनका अगर ठीक तरह से पालन कर लिया जाए तो जीवन में सुख समृद्धि और धन का आगमन होने लगता है।

फिलहाल पितृ पक्ष चल रहा है और सभी पितरों का तर्पण और पिंडदान करते हुए दिखाई दे रहे हैं। ऐसे में अगर आप भी अपने पितरों को प्रसन्न करना चाहते हैं तो पितृपक्ष के अंतिम दिन कुछ उपाय कर सकते हैं। 2 अक्टूबर को पितृपक्ष का अंतिम दिन है और इस दिन किए गए कुछ उपाय पितरों का आशीर्वाद प्राप्त करवा सकते हैं। चलिए इस बारे में जानते हैं।

गाय को खाना

अगर आप अपने पितरों को प्रसन्न करना चाहते हैं तो पितृपक्ष में गाय को रोटी या चारा जरूर खिलाएं। हम गौ माता के लिए वैसे भी रोजाना रोटी बनाते हैं। पितृपक्ष में अगर गाय को भोजन करवाया जाता है तो पितरों की आत्मा को शांति मिलती है।

कौवों को भोजन

पितृपक्ष के अंतिम दिन कौवों को खाना खिलाना शुभ माना गया है। ऐसा कहा जाता है कि अगर यह उपाय किया जाए तो पितरों की जितनी भी नाराजगी होती है और वह खत्म हो जाती है। ऐसा करने से पितृ आपके आशीर्वाद प्रदान करते हैं।

करें दीप दान

पितृपक्ष के अंतिम दिन दीपदान करने का विशेष महत्व माना गया है। इस दिन आपको किसी पवित्र स्थान पर जाकर दीपदान करना चाहिए। आप कहीं जा नहीं सकते तो तुलसी या फिर पीपल के पास दीपक जलाएं।

सात्विक भोजन

पितृपक्ष के अंतिम दिन घर में सात्विक भोजन बना चाहिए। इस दिन जरूरतमंद व्यक्ति को भोजन अवश्य करवाएं, इससे पितृ प्रसन्न होते हैं।

तुलसी की पूजन

पितृपक्ष के दौरान तुलसी की पूजन विशेष तौर पर करनी चाहिए। हिंदू धर्म में वैसे भी तुलसी पूजन का खास महत्व माना गया है। धार्मिक मान्यताओं के मुताबिक ऐसा करने से देवी देवताओं के साथ पितरों का आशीर्वाद भी प्राप्त होता है।

तर्पण और पिंडदान

पितरों का आशीर्वाद प्राप्त करने के लिए पितृपक्ष के अंतिम दिन तर्पण और पिंडदान की विधि की जाती है। इस विधि का पालन पितरों की आत्मा की शांति के लिए किया जाता है।

Disclaimer- यहां दी गई सूचना सामान्य जानकारी के आधार पर बताई गई है। इनके सत्य और सटीक होने का दावा MP Breaking News नहीं करता।


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Diksha Bhanupriy

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"पत्रकारिता का मुख्य काम है, लोकहित की महत्वपूर्ण जानकारी जुटाना और उस जानकारी को संदर्भ के साथ इस तरह रखना कि हम उसका इस्तेमाल मनुष्य की स्थिति सुधारने में कर सकें।” इसी उद्देश्य के साथ मैं पिछले 10 वर्षों से पत्रकारिता के क्षेत्र में काम कर रही हूं। मुझे डिजिटल से लेकर इलेक्ट्रॉनिक मीडिया का अनुभव है। मैं कॉपी राइटिंग, वेब कॉन्टेंट राइटिंग करना जानती हूं। मेरे पसंदीदा विषय दैनिक अपडेट, मनोरंजन और जीवनशैली समेत अन्य विषयों से संबंधित है।

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