अनंत चतुर्दशी कल, इस तरह करें भगवान विष्णु को प्रसन्न, मिलेगी बेशुमार सुख और समृद्धि

हिंदू पंचांग के अनुसार, इस साल अनंत चतुर्दशी 17 सितंबर को मनाया जाएगा। इस त्योहार को केवल हिंदू धर्म में ही नहीं, बल्कि जैन धर्म में भी काफी महत्वपूर्ण माना जाता है।

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Anant Chaturdashi 2024 : हमारा भारत देवी-देवताओं का देश माना जाता है। मान्यताओं के अनुसार, यहां के हर एक कोने में उनका आस्तिव पाया जाता है। वहीं, हर राज्य की अपनी अलग अलग प्रथा होती है। अलग अलग त्योहार होते हैं। इसमें से कुछ पर्व ऐसे होते है जिसे पूरे देश में बड़े ही धूमधाम से मनाया जाता है, तो इनमें से कुछ त्योहार ऐसे भी हैं जिन्हें केवल किसी एक ही राज्य में मनाया जाता है। हर त्योहार का अपना अलग-अलग महत्व होता है। इन दिनों की बात करें तो पूरे देश भर में बड़े हर्षोल्लास के साथ गणपति उत्सव मनाया जा रहा है, जिसका समापन 17 सितंबर यानी अनंत चतुर्दशी के दिन होगा। इसे अनंत चौदस के नाम से भी जाना जाता है। बता दें कि इस खास मौके पर भगवान विष्णु की विशेष पूजा अर्चना की जाती है। लोग व्रत रखकर भगवान को प्रसन्न करने के लिए तरह-तरह के उपाय भी अपनाते हैं।

अनंत चतुर्दशी कल, इस तरह करें भगवान विष्णु को प्रसन्न, मिलेगी बेशुमार सुख और समृद्धि

शुभ मुहूर्त

हिंदू पंचांग के अनुसार, इस साल अनंत चतुर्दशी 17 सितंबर को मनाया जाएगा। इसका शुभारंभ 16 सितंबर को दोपहर 3 बजकर 10 मिनट पर होगा, तो वहीं इसका समापन 17 सितंबर को सुबह 11 बजकर 44 मिनट पर होगा। इसलिए उदया तिथि के अनुसार, 17 सितंबर को अनंत चतुर्दशी मनाई जाएगी। इस त्योहार को केवल हिंदू धर्म में ही नहीं, बल्कि जैन धर्म में भी काफी महत्वपूर्ण माना जाता है जो कि भाद्रपद मास के शुक्ल पक्ष की चतुर्थी तिथि को मनाया जाता है। इस दिन दिगंबर जैन समुदाय का पर्यूषण पर्व भी समाप्त होता है।

महत्व

पौराणिक कथाओं में इस बात का उल्लेख किया गया है कि द्वापर युग में जब पांडवों से उनका राज पाठ छीन लिया गया था, तब उन्होंने अनंत चतुर्दशी के व्रत को रखकर अपने साम्राज्य को वापस हासिल किया था। साथ ही ऐसी भी मान्यता है कि अनंत चतुर्दशी का व्रत रखने वाले भक्तों को 14 साल तक शुभ परिणाम मिलता है तथा भगवान विष्णु सदैव उन पर अपनी कृपा दृष्टि बनाए रखते हैं।

बांधें ये धागा

ऐसे में अगर आप भगवान विष्णु को प्रसन्न करना चाहते हैं, तो इस दिन आपको चौदह ग्रंथि का सूत्र बांधना चाहिए। ज्योतिष के अनुसार, इसे विधि पूर्वक बांधने से अनंत शुभ फलों की प्राप्ति होती है। इसके लिए सबसे पहले पूजा के दौरान भगवान विष्णु के मंत्रों से अनंत सूत्र को जगाया जाता है, जिसके बाद विधिपूर्वक पूजा खत्म करके चौदह ग्रंथ अनंत सूत्र को पुरुष के दाहिने हाथ में बांधा जाता है, तो वहीं महिलाओं के बाएं हाथ में बांधा जाता है। इससे भगवान की विशेष कृपा दृष्टि उन पर सदैव बनी रहती है। साथ ही घर पर माता लक्ष्मी का भी आगमन होता है, जिससे हमेशा सुख और समृद्धि आती है।

ना करें ये काम

अनंत चतुर्दशी के दिन व्रत रखने वाले भक्तों को इस दिन नमक का सेवन नहीं करना चाहिए, बल्कि उन्हें फल आहार के तौर पर लेना चाहिए। इस दिन व्रत रखने से एक दिन पहले चावल नहीं खाना चाहिए, इससे आपका व्रत अधूरा रह सकता है।

ऐसे करें पूजा

वहीं, पूजन विधि की बात करें तो भक्तों को इस दिन सबसे पहले सुबह उठकर स्नान कर लेना चाहिए। इसके बाद साफ वस्त्र धारण करके पूजा स्थल को साफ कर लें। फिर भगवान विष्णु की प्रतिमा के साथ-साथ गणपति बप्पा की भी प्रतिमा को स्थापित करें। इसके बाद उन्हें फल, फूलों सहित भोग अर्पित करें। अब भगवान विष्णु की आरती उतार कर पूजा का समापन करें और उनसे परिवार की सुख-शांति के लिए आशीर्वाद मांगे।

(Disclaimer: यहां मुहैया सूचना सिर्फ मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है। MP Breaking News किसी भी तरह की मान्यता, जानकारी की पुष्टि नहीं करता है। किसी भी जानकारी या मान्यता को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह लें।)


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Sanjucta Pandit

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मैं संयुक्ता पंडित वर्ष 2022 से MP Breaking में बतौर सीनियर कंटेंट राइटर काम कर रही हूँ। डिप्लोमा इन मास कम्युनिकेशन और बीए की पढ़ाई करने के बाद से ही मुझे पत्रकार बनना था। जिसके लिए मैं लगातार मध्य प्रदेश की ऑनलाइन वेब साइट्स लाइव इंडिया, VIP News Channel, Khabar Bharat में काम किया है। पत्रकारिता लोकतंत्र का अघोषित चौथा स्तंभ माना जाता है। जिसका मुख्य काम है लोगों की बात को सरकार तक पहुंचाना। इसलिए मैं पिछले 5 सालों से इस क्षेत्र में कार्य कर रही हुं।

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