Puja Path Niyam: महिलाएं पूजा के दौरान जरूर करें इन नियमों का पालन, न करें ये गलतियाँ, वरना होगा नुकसान 

पूजा के दौरान महिलाओं द्वारा नियमों में अनदेखी पूरे परिणाम दे सकती है। देवी-देवता रुष्ट भी हो सकते हैं।

Manisha Kumari Pandey
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Puja Path Niyam: सनातन धर्म में पूजा, पाठ और व्रत का विशेष महत्व होता है। ऐसा माना जाता है कि महिलाएं पुरुषों की तुलना में ज्यादा आस्तिक होती हैं और पूजा-पाठ पर ज्यादा ज्यादा ध्यान देती हैं । महिलाएं ईश्वर के प्रति ज्यादा श्रद्धा रखती हैं और सभी त्योहार व्रत से जुड़ाव महसूस करती हैं। लेकजीन पूजा के दौरान महिलाओं को कुछ नियमों का जरूर करना चाहिए। नियमों की अनदेखी बुरे फल दे सकती है। देवी-देवता रुष्ट भी हो सकते हैं। आइए जानें महिलाओं को पूजा के दौरान किन-किन नियमों का पालन करना चाहिए-

मासिक धर्म के दौरान न करें पूजा 

मासिक धर्म यानि पिरियड्स के दौरान महिलाओं को पूजा नहीं करनी चाहिए। इस दौरान उनके द्वारा देवी-देवता की तस्वीर या प्रतिमा को छूना भी वर्जित होता है। मान्यताओं के अनुसार इस दौरान महिलाओं के शरीर में ऊर्जा का संचार अधिक होता है, जिसे भगवान भी सहन नहीं कर पाते। इसलिए मासिक धर्म  के दौरान मंदिर जाना या पूजा-पाठ करना शुभ नहीं होता।

इन देवाओं की प्रतिमा न छूएं 

महिलाओं को हनुमान जी की प्रतिमा को हाथ नहीं लगना चाहिए। ना ही उन्हें सिंदूर अर्पित करना चाहिए। बजरंगबली ब्रह्मचारी थे इसलिए महिलाओं द्वारा उनकी प्रतिमा को छूना शुभ नहीं माना जाता। महिलाओं को शनिदेव की प्रतिमा को छूना और उन्हें तेल चढ़ाना भी वर्जित होता है। मान्यताएं हैं ऐसा करने से शनि दोष लगता है। जीवन में कई कष्टों का सामना करना पड़ता है।

न फोड़े नारियल

मान्यताओं के अनुसार महिलाओं को पूजा के दौरान कभी भी नारियल फोड़ना नहीं चाहिए। नारियल एक बीज है, जिससे नया पेड़ बनता है जिससे एक नया पेड़ बनता है।  वहीं महिलाएं एक नए जीवन को जन्म देती है। इसलिए उनके द्वारा नारियल फोड़ना उचित नहीं माना जाता।

हमेशा सिर ढककर करें पूजा

महिलाओं को पूजा के दौरान  हमेशा सिर ढक कर रखना चाहिए । सा करने से सकारात्मक उर्जा शरीर से बाहर नहीं जाती। ना ही ध्यान भटकता है।

स्नान के बाद ही करें घर के मंदिर में प्रवेश

महिलाओं को बिना यह बिना स्नान किए देवी-देवताओं की प्रतिमाओं को नहीं छूना चाहिए। मान्यताएँ है कि महिलाएं घर की लक्ष्मी होती है। उनका सदैव स्वच्छ होकर ही घर के मंदिर में प्रवेश करना चाहिए और पूजा करनी चाहिए।

(Disclaimer: इस आलेख का उद्देश्य केवल सामान्य जानकारी साझा करना है, जो ग्रंथों, मान्यताओं और विभिन्न माध्यमों पर आधारित है। MP Breaking News इन बातों के सत्यता और सटीकता की पुष्टि नहीं करता।)


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